किसान आंदोलन का 48वां दिनः अन्नदाता बोले- अगर सरकार नहीं मानी तो लोहड़ी तो क्या हम होली भी यहीं मनाएंगे 

किसान आंदोलन का 48वां दिनः अन्नदाता बोले- अगर सरकार नहीं मानी तो लोहड़ी तो क्या हम होली भी यहीं मनाएंगे 

Bhaskar Hindi
Update: 2021-01-12 06:14 GMT
किसान आंदोलन का 48वां दिनः अन्नदाता बोले- अगर सरकार नहीं मानी तो लोहड़ी तो क्या हम होली भी यहीं मनाएंगे 

डिजिटल डेस्क ( भोपाल)।  कृषि कानूनों के खिलाफ बुराड़ी के निरंकारी समागम ग्राउंड में किसानों का प्रदर्शन जारी है। फरीदकोट के ज़िला प्रधान बिंदर सिंह गोले वाला ने बताया, "उम्मीद है कि कोर्ट किसानों के पक्ष में और कानूनों को रद्द करने के लिए कोई फैसला लेगी। हमें बुराड़ी ग्राउंड में करीब 48 दिन हो गए।" कृषि कानूनों के खिलाफ सिंघु बॉर्डर पर किसानों का विरोध-प्रदर्शन आज 48वें भी जारी है। एक प्रदर्शनकारी ने बताया,"अगर सरकार नहीं मानी तो लोहड़ी तो क्या हम होली भी यहीं मनाएंगे। हम सरकार से कहना चाहते हैं कि किसानों की तरफ ध्यान दे। यहां 51-52 लोग मर गए सरकार को उनकी फिक्र नहीं है। उल्लेखनीय है कि 26 नवंबर से किसान यह लड़ाई लड़ रहे हैं। वहीं एक अन्य प्रदर्शनकारी ने कहा कि, "सुप्रीम कोर्ट से तो उम्मीद है मगर सरकार से उम्मीद नहीं है क्योंकि अगर सरकार चाहती तो यह फैसला अब तक हो गया होता।"

उधर,  किसान मज़दूर संघर्ष कमेटी ने कृषि कानूनों के खिलाफ अमृतसर से दिल्ली की ओर ट्रैक्टर रैली निकाली। एक किसान ने बताया, "हमारा हज़ारों ट्रैक्टरों का जत्था दिल्ली धरने में शामिल होगा और 26 जनवरी की परेड में भी शामिल होगा। हमारा जत्था 3 कानूनों को रद्द करवाकर ही वापस आएगा।" 

भारतीय किसान यूनियन के राजवीर सिंह जादौन ने कहा, "हम कोर्ट से अपेक्षा करेंगे कि कानूनों को खत्म करने का आदेश दे और MSP पर कानून बने।"

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