नवोदय बैंक घोटाला : खाते डी-फ्रीज करने हाईकोर्ट में याचिका

नवोदय बैंक घोटाला : खाते डी-फ्रीज करने हाईकोर्ट में याचिका

Anita Peddulwar
Update: 2020-10-29 06:54 GMT
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डिजिटल डेस्क, नागपुर। नवोदय बैंक घोटाले में मामला दर्ज होने के बाद फ्रीज किए गए बैंक खातों को दोबारा शुरू करने के लिए बॉम्बे हाईकोर्ट की नागपुर खंडपीठ में बोर्ड ऑफ लिक्विडेटर द्वारा याचिका दायर की गई है। मामले में न्या. सुनील शुक्रे और न्या. अविनाश घारोटे के सामने सुनवाई हुई। इसमें याचिकाकर्ता का पक्ष सुनकर कोर्ट ने इस प्रकरण को एकल पीठ के समक्ष ले जाने के आदेश दिए हैं। पुलिस में दर्ज मामले के अनुसार वर्ष 2010 से 2015 के बीच बैंक के तत्कालीन संचालक मंडल और पदाधिकारियों ने बैंक के चुनिंदा लोगों को कर्ज बांटा था।

कर्जदारों पर बैंक की रकम बकाया होने के बावजूद एनओसी जारी करके उनकी गिरवी रखी संपत्ति आैर कागजात लौटा दिए थे। संचालकों और पदाधिकारियों ने बैंक से रकम उठाई। रिजर्व बैंक की पाबंदी के बाद भी बैंक का व्यवहार जारी रखा। इस तरह आरोपियों ने कुल 38 करोड़ 75 लाख 20 हजार 641 रुपए की अफरा-तफरी की। सहकारी संस्था के जिला विशेष लेखा परीक्षक (भंडारा) श्रीकांत श्रीधर सुपे की ऑडिट रिपोर्ट में इसका खुलासा हुआ था। इसके बाद आरोपियों के खिलाफ धंतोली पुलिस मंे मामला दर्ज किया गया था। इसमें करीब 40 लोगों का समावेश था। मामले में याचिकाकर्ता की ओर से एड.शांतनु घाटे ने पक्ष रखा।

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