किसानों के लिए एक हजार करोड़ रुपए के फंड का प्रावधान: शिवराज

किसानों के लिए एक हजार करोड़ रुपए के फंड का प्रावधान: शिवराज

Bhaskar Hindi
Update: 2017-08-28 04:48 GMT
किसानों के लिए एक हजार करोड़ रुपए के फंड का प्रावधान: शिवराज

डिजिटल डेस्क,भोपाल। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का कहना है कि अब किसानों को किसी भी तरह की प्राकृतिक आपदा से घबराने की जरूरत नहीं है। राज्य सरकार किसानों के उत्पाद के नुकसान की भरपाई के लिए एक हजार करोड़ रुपए का फंड का प्रावधान कर रही है। चौहान ने कहा कि सरकार किसानों की आय दोगुनी करने के लिए संकल्पित है।

दरअसल सीएम शिवराज गुना में आयोजित प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के अंतर्गत किसानों के बीमा राशि के प्रमाण-पत्र वितरण समारोह में शामिल होने पहुंचे थे। कार्यक्रम में 65 हजार किसानों को 212 करोड़ रूपए की बीमा राशि के प्रमाण-पत्र वितरित किए गए। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर गुना में 251.31 करोड़ रूपए लागत के निर्माण कार्यों का शिलान्यास किया और हितग्राही मूलक योजनाओं के ऋण पत्र भी वितरित किए। चौहान ने कहा कि मप्र एक ऐसा राज्य है, जहां किसानों को खेती-किसानी हेतु बिना ब्याज के ऋण दिया जाता है।

राज्य सरकार अब किसानों के हित में यह व्यवस्था भी करने जा रही है कि अगर किसान के किसी उत्पाद का मूल्य बाजार में गिर जाता है, तो उसके उत्पाद को समर्थन मूल्य पर खरीदा जाएगा। समर्थन मूल्य की राशि सीधे किसान के खाते में जमा करा दी जाएगी। उन्होंने कहा कि जिन लोगों के पास रहने को घर, जमीन नहीं है, उन्हें राज्य सरकार मकान बनाने के लिए जमीन का पट्टा देकर जमीन का मालिक बनाएगी। जरूरतमंदों को जमीन का पट्टा देने के साथ-साथ राज्य सरकार मकान बनाने एवं शौचालय बनाने के लिए धनराशि भी देगी।

नवनिर्मित संयुक्त कार्यालय भवन का लोकार्पण
मुख्यमंत्री चौहान ने गुना में नवनिर्मित संयुक्त कार्यालय भवन का लोकार्पण किया। भवन की निर्माण लागत 2040 लाख रूपए है। इस मौके पर उच्च शिक्षा, मंत्री एवं जिले के प्रभारी जयभान सिंह पवैया, किसान कल्याण एवं कृषि विकास मंत्री गौरीशंकर बिसेन, राज्यसभा सांसद प्रभात झा, विधायक पन्नालाल शाक्य, विधायक ममता मीणा, विधायक महेंद्र सिंह सिसोदिया, जिला पंचायत अध्यक्ष अर्चना चौहान समेत जनप्रतिनिधि एवं वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

किसान देशज पद्धतियां अपनाएं
वहीं मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर का कहना है कि रासायनिक खादों से खेतों की उर्वरा शक्ति समाप्त हो रही है। इसलिए किसानों को देशज पद्धतियों को अपनाकर जैविक खेती की ओर भी ध्यान देना चाहिए।  केंद्रीय पंचायतीराज मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने यह बात बलराम जयंती एवं किसान दिवस के उपलक्ष्य में ग्वालियर में आयोजित किसान सम्मान समारोह में कही। नंदलाल बाल कल्याण समिति के तत्वावधान में आयोजित इस सम्मेलन में तोमर ने कहा कि किसानों को "संकल्प से सिद्धि" के तहत भारत के नव निर्माण के लिए संकल्प दिलाया है। उन्होंने कहा कि इस लक्ष्य की पूर्ति तभी होगी जब किसान भी समर्पित भाव से आगे आएंगे।कार्यक्रम में भारतीय किसान संघ के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रभाकर केलकर ने कहा कि खेती की लागत कम करने की जरूरत है। इस दिशा में केंद्र एवं राज्य सरकार ने कारगर कदम उठाए हैं। उन्होंने गांवों में लघु उद्योगों को बढ़ावा देने की दिशा में पहल करने की बात भी कही। 

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