सैनिटाइजर के इस्तेमाल से स्कीन के जरूरी बैक्टीरिया भी मर रहे
सैनिटाइजर के इस्तेमाल से स्कीन के जरूरी बैक्टीरिया भी मर रहे
डिजिटल डेस्क, नागपुर। कोरोना काल में सैनिटाइजर हमारे जीवन का अहम हिस्सा बन गया है। हर समय लोग साथ में सैनिटाइजर रख रहे हैं और इस्तेमाल कर रहे हैं। यही वजह है कि इसका ज्यादा इस्तेमाल करने वाले लोगों की त्वचा खराब होने लगी है। चिकित्सकों का मानना है कि सैनिटाइजर के ज्यादा इस्तेमाल से त्वचा के लिए जरूरी बैक्टीरिया मर रहे हैं। इसकी वजह से हथेली पर, उंगलियों के बीच में व सैनिटाइजर का ज्यादा उपयोग होने वाले अंगों में संक्रमण की शिकायतें ज्यादा आ रही हैं। मेयो और मेडिकल अस्पताल में इस तरह के 5-6 रोगी रोज आ रहे हैं। खास बात यह है कि अस्पताल के स्टाफ को भी त्वचा संबंधी परेशानियां हो रही हैं।
यह है कारण : मेडिकल अस्पताल के त्वचा रोग विशेषज्ञ डॉ. जयेश मुखी की मानें तो सैनिटाइजर में अल्कोहल की मात्रा होने की वजह से त्वचा को नुकसान होता है। सैनिटाइजर में बेंजालकोनियम क्लोराइड भी होता है। यह त्वचा के जरूरी बैक्टीरिया को भी मार देता है। खुशबू के लिए फैथलेट्स नामक रसायन का इस्तेमाल होता है। अगर यह ज्यादा मात्रा में होता है तो त्वचा को नुकसान पहुंचाता है। सैनिटाइजर से शरीर की प्रतिरोधक क्षमता भी कम होती है।
केस 1 : बच्चे को हुई एलर्जी
स्नेह नगर निवासी माया को 8 वर्ष का बेटा है। उसका वह बार-बार हाथ सैनिटाइज करती हैं। इसकी वजह से त्वचा में सूखापन आ गया है। उंगलियों के बीच जलन होने लगी है। साथ ही त्वचा निकलने लगी है। हाथ में दाने निकल आए हैं और खुजली भी होने लगी है। डॉक्टर ने इसका कारण सैनिटाइजर का इस्तेमाल बताया।
केस-2 : चमड़ी पड़ने लगी काली
बर्डी निवासी 50 वर्षीय रमेश गुप्ता की हाथ की चमड़ी अचानक काली होने लगी। त्वचा रोग विशेषज्ञ को दिखाया तो पता चला कि सैनिटाइजर के अधिक इस्तेमाल के कारण ऐसा हो रहा है।
केस-3 : सोडियम हाइपोक्लोराइट से त्वचा हो गई काली
मेडिकल अस्पताल के सैनिटरी स्टाफ को सोडियम हाइपोक्लोराइट से पीठ की त्वचा काली पड़ गई। स्टाफ का कर्मचारी डेली अस्पताल की सफाई के लिए पीठ पर सोडियम हाइपोक्लोराइट की कैन कैरी करता था। अस्पताल में छिड़काव के समय उसकी पीठ पर थोड़ा-थोड़ा सोडियम हाइपोक्लोराइट गिरने से अचानक से एक दिन पता चला कि उसकी पीठ की चमड़ी काली पड़ने लगी।
यह भी जानें : मेडिकल के त्वचा रोग विशेषज्ञ डॉ. जयेश मुखी ने बताया कि ड्राई स्किन वालों को सैनिटाइजर के उपयोग के साथ माॅइश्चराइजर का उपयोग करना चाहिए। कार्यालय में साबुन का उपयोग बेहतर है। ग्लब्ज के उपयोग से भी बचना चाहिए। इसका उपयोग स्वास्थ्यकर्मी ही करें तो बेहतर है।