पहले बनी "सेरोगेसी मदर'अब मानव तस्करी के दलदल में

पहले बनी "सेरोगेसी मदर'अब मानव तस्करी के दलदल में

Anita Peddulwar
Update: 2020-12-01 06:26 GMT
पहले बनी "सेरोगेसी मदर'अब मानव तस्करी के दलदल में

डिजिटल डेस्क, नागपुर। बाल तस्करी में लिप्त और एक और आरोपी पुलिस के हाथ लगा है। सोमवार को अपराध शाखा के सामाजिक सुरक्षा विभाग ने उसे गिरफ्तार किया है। चौंकाने वाली बात यह है कि इस मामले में गिरफ्तार महिलाएं "सेरोगेसी मदर" का काम करती थीं। इसके बाद वह बच्चों की तस्करी में सक्रिय हो गईं। पुलिस की जैसे-जैसे जांच आगे बढ़ रही है, गंभीर खुलासे होने लगे हैं।

मासूम को लेकर आया था मध्य प्रदेश से
आरोपी जय नायडू गोवा काॅलोनी सदर छावनी का निवासी है। गिरोह के चंगुल से मुक्त कराई गई मासूम चार वर्षीय बालिका को मध्य प्रदेश से जय ही लेकर आया था। बालिका को मां नही है। पिता शराबी है और सड़क किनारे पड़ा रहता है। बच्ची की ठीक से देखभाल नहीं होने के कारण उसके पिता ने यह सोचकर बच्ची जय के हवाले की थी कि बच्ची का वह ठीक ढंग से पालन-पोषण करेगा। जय ने गिरोह के अपने अन्य सदस्यों के हवाले बच्ची को कर दिया। ढाई लाख रुपए में बच्ची की बिक्री करते हुए पुलिस ने सुरेंद्र यादव (44) उसकी पत्नी पूजा, शर्मिला विजय खाकसे (50), शैला मनोज मनचलवार (32), लक्ष्मी अरम राणे (38) और मनोरमा आनंद ढवले (45) को गिरफ्तार किया। इन आरोपियों से हुई पूछताछ से जय का नाम सामने आया। इसके बाद उसे भी गिरफ्तार किया गया है। दबी जुबान से यह भी कहा जा रहा है कि ठीक से जांच हो जाए तो शहर के कुछ संगठनों, चिकित्सकों सहित कई बड़े नाम सामने आ सकते हैं। 

बच्ची से घुलने-मिलने का प्रयास कर रही पुलिस  
मुक्त कराई गई बालिका ठीक से बोल नहीं पाती है। चॉकलेट-बिस्कुट देकर पुलिस बालिका से घुलने-मिलने का प्रयास कर रही है। पुलिस बालिका को हर तरह से खुश रखने का प्रयास कर रही है। ताकि उससे कुछ जानकारी हासिल की जा सके। सोमवार को बच्ची ने त्रिशा और छकुली को पूछा है। वह कहां गईं, ऐसा पुलिस से बच्ची पूछ रही थी। इससे यह अनुमान लगाया जा रहा है कि गिरोह के पास कुछ और बच्चियां हैं। जैसे-जैसे खरीददार मिलते होंगे, वैसे-वैसे उन्हेेें बाहर लाया जाता होगा। 

मोटी रकम की लालच में 
पकड़ी गई गिरोह की महिला सदस्य लगभग छह-सात वर्ष से इस धंधे में सक्रिय है। इसमें से तीन महिलाएं पहले सेरोगेसी मदर बन चुकी हैं। उनके लिए ग्राहक तलाशने का काम गिरोह की बुजुर्ग सदस्य करती हैं। उसे लोग काकू नाम से जानते हैं। सेरोगेसी मदर बनने पर महिलाओं को मोटी रकम मिली है। इसके बाद वह ऐसी मोटी रकम पाने की लालच में बाल तस्करी से भी जुड़ गई।
 

Tags:    

Similar News