हाईकोर्ट: 6 साल बाद भी क्यों नहीं किया फसल बीमा का भुगतान?

High Court: Why did not pay crop insurance even after 6 years?
हाईकोर्ट: 6 साल बाद भी क्यों नहीं किया फसल बीमा का भुगतान?
हाईकोर्ट: 6 साल बाद भी क्यों नहीं किया फसल बीमा का भुगतान?


डिजिटल डेस्क जबलपुर। हाईकोर्ट ने राज्य सरकार व अन्य से पूछा है कि हरदा जिले की टिमरनी तहसील के किसानों को फसल बीमा की मुआवजा राशि का भुगतान पिछले 6 वर्षों में क्यों नहीं किया गया? भुगतान को लेकर यह तीसरी याचिका दायर हुई है। जस्टिस सुजय पॉल और जस्टिस अंजुली पालो की युगलपीठ ने सोमवार को मामले पर प्रारंभिक सुनवाई के बाद अनावेदकों को जवाब पेश करने कहा है।
यह कहा अवेदक ने-
यह याचिका टिमरनी के ग्राम पोखरी मुलकाम में रहने वाले कृषक ओमप्रकाश की ओर से दायर की गई है। आवेदक का कहना है कि वर्ष 2013 में हुई भारी बारिश के बाद वहां के किसानों की सोयाबीन व अन्य फसलें तबाह हो गईं थीं। इस पर राष्ट्रीय फसल बीमा योजना के तहत मुआवजा पाने पीडि़त किसानों में आवेदन दिए। याचिका में आरोप है कि किसानों की बर्बाद हुईं फसलों का निरीक्षण पटवारी ने किया और उसका वेरीफिकेशन भूमि रिकार्ड के अधीक्षक द्वारा किया गया। आवेदक का आरोप है कि कई बार कलेक्टर व मुख्यमंत्री को ज्ञापन देने के बाद भी कोई कार्रवाई न होने पर वर्ष 2013 में एक जनहित याचिका दायर हुई थी, जिस पर कोर्ट ने कलेक्टर को कार्रवाई के निर्देश दिए थे। इसके बाद से बीमा कंपनी को सही आंकड़ेे उपलब्ध न कराए जाने पर एक दूसरी याचिका वर्ष 2018 में दायर की गई, जिस पर हाईकोर्ट ने आईआरडीए को आवेदन देने की स्वतंत्रता याचिकाकर्ता को दी थी। इसके बाद भी कोई कार्रवाई न होने पर यह तीसरी याचिका दायर की गई। मामले पर सोमवार को हुई प्रारंभिक सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता की ओर से अधिवक्ता सुदीप्ता चौबे ने पक्ष रखा। सुनवाई के बाद युगलपीठ ने याचिका में बनाए गए अनावेदकों को नोटिस जारी कर जवाब पेश करने के निर्देश दिए।

 

Created On :   14 Oct 2019 5:36 PM GMT

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