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IRCTC घोटाला: पत्नी और बेटे को मिली जमानत, लालू के खिलाफ प्रोडक्शन वारंट जारी
हाईलाइट
- IRCTC मामले में लालू प्रसाद यादव के खिलाफ प्रोडक्शन वारंट जारी।
- 6 अक्टूबर को कोर्ट में पेश होंगे लालू प्रसाद यादव।
- लालू के बेटे तेजस्वी और पत्नी राबड़ी देवी को मिली जमानत।
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव की पत्नी राबड़ी देवी और बेटे तेजस्वी यादव को दिल्ली के पटियाला हाउस कोर्ट से जमानत मिल गई है, लेकिन कोर्ट में लालू के पेश न होने पर उनके नाम पेशी वारंट जारी किया गया है। अब लालू को 6 अक्टूबर को कोर्ट में पेश होना होगा। लिहाजा उन्हें पेशी के लिए दिल्ली से रांची लाया जाएगा। इसके साथ ही कोर्ट ने 1 लाख रुपए का पर्सनल बॉन्ड जमा करने के लिए कहा है। बता दें कि सीबीआई ने लालू के खिलाफ प्रोडक्शन वारंट जारी करने की मांग की थी, जिसे कोर्ट ने स्वीकार कर लिया है।
IRCTC scam case: Delhi's Patiala House Court grants bail to all accused including former Bihar CM Rabri Devi & RJD leader Tejashwi Yadav. All have to furnish a personal bond & surety amount of Rs 1 lakh each. https://t.co/xf7L1PyJYR
— ANI (@ANI) August 31, 2018
इससे पहले लालू यादव की पत्नी और पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी और बेटे तेजस्वी यादव सहित सभी 14 आरोपियों को राहत देते हुए जमानत दे दी। कोर्ट ने मामले पर सुनवाई करते हुए सभी आरोपियों को एक लाख के निजी मुचलके पर जमानत दे दी है। इस मामले में दस बजे तेजस्वी अपनी मां के साथ पटियाला हाउस कोर्ट पहुंचे थे। बता दें कि लालू यादव के परिवार पर साल 2006 में आईआरसीटीसी होटलों के निर्माण में अनियमितता और निजी कंपनी से रिश्वत लेने का आरोप है। सीबीआई ने चार्टशीट में कहा है कि यादव परिवार के खिलाफ मामले में पर्याप्त सबूत थे। इस चार्टशीट में लालू और उनके परिवार के अलावा पूर्व केंद्रीय मंत्री प्रेम चंद गुप्ता, उनकी पत्नी सरला गुप्ता, आईआरसीटीसी के तत्कालीन प्रबंधन निदेशक पीके गोयल और तत्कालीन निदेशक राकेश सक्सेना के भी नाम हैं।
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ध्यान रखें की प्रॉपर्टी RERA अप्रूव्ड हो
कोई भी प्रॉपर्टी खरीदने से पहले इस बात का ध्यान रखे कि वो भारतीय रियल एस्टेट इंडस्ट्री के रेगुलेटर RERA से अप्रूव्ड हो। रियल एस्टेट रेगुलेशन एंड डेवेलपमेंट एक्ट, 2016 (RERA) को भारतीय संसद ने पास किया था। RERA का मकसद प्रॉपर्टी खरीदारों के हितों की रक्षा करना और रियल एस्टेट सेक्टर में निवेश को बढ़ावा देना है। राज्य सभा ने RERA को 10 मार्च और लोकसभा ने 15 मार्च, 2016 को किया था। 1 मई, 2016 को यह लागू हो गया। 92 में से 59 सेक्शंस 1 मई, 2016 और बाकी 1 मई, 2017 को अस्तित्व में आए। 6 महीने के भीतर केंद्र व राज्य सरकारों को अपने नियमों को केंद्रीय कानून के तहत नोटिफाई करना था।