मप्र में ओंकारेश्वर बांध प्रभावितों का जल सत्याग्रह शुरू

Water satyagraha of Omkareshwar dam affected begins in MP
मप्र में ओंकारेश्वर बांध प्रभावितों का जल सत्याग्रह शुरू
मप्र में ओंकारेश्वर बांध प्रभावितों का जल सत्याग्रह शुरू

खंडवा, 25 अक्टूबर (आईएएनएस)। मध्यप्रदेश में ओंकारेश्वर बांध प्रभावितों का पुनर्वास किए बिना ही बांध का जलस्तर बढ़ाए जाने के विरोध में धनतेरस के दिन से जल सत्याग्रह शुरू हो गया है। सत्याग्रह खंडवा जिले के कामनखेड़ा गांव में नर्मदा बचाओ आंदोलन के आलोक अग्रवाल और अन्य नौ लोगों ने शुरू किया।

ओंकारेश्वर बांध में 21 अक्टूबर से पानी भरा जाना शुरू कर दिया गया है, जिससे कई गांवों के रास्ते कट गए हैं और सैकड़ों एकड़ जमीन टापू बन गई है। बांध प्रभावित लगभग 2000 परिवारों का पुनर्वास होना अभी भी बाकी है। पुनर्वास पूरा हुए बिना जलस्तर बढ़ाए जाने से प्रभावित लोगों में आक्रोश है।

जल सत्याग्रह शुरू होने के समय प्रभावितों को संबोधित करते हुए आलोक अग्रवाल ने कहा, सर्वोच्च न्यायालय का स्पष्ट आदेश है कि बिना पुनर्वास के बांध के डूब में किसी को नहीं लाया जा सकता, मगर ओंकारेश्वर बांध का जलस्तर बढ़ाए जाने से दो हजार परिवारों की संपत्तियां डूब रही हैं, उनका पुनर्वास नहीं किया गया है।

अग्रवाल का दावा है कि 500 परिवारों को पुनर्वास स्थल पर मकान-भूखंड और 400 अन्य परिवारों को मकान-भूखंड के एवज में पैकेज नहीं मिला है। लगभग ढाई सौ परिवारों की 17 सौ एकड़ जमीन जो डूब रही है या टापू बन रही है, उसका अधिग्रहण किया जाना या उसमें रास्ता दिया जाना बाकी है। वनग्राम देगावां के 200 परिवारों की जमीन व गांव का अधिग्रहण किया जाना बाकी है और सैकड़ों अन्य परिवारों के पुनर्वास के अन्य अधिकार बाकी हैं।

राज्य सरकार पर आरोप है कि पुनर्वास पूरा करने के स्थान पर राज्य सरकार द्वारा पानी भरा जा रहा है, घर व खेत डूब रहे हैं, घोघलगांव की बिजली काट दी गई है और उसका रास्ता बंद हो गया है।

ओंकारेश्वर बांध का जलस्तर बढ़ाए जाने से कई गांव डूब में आ रहे, इसके विरोध में शुक्रवार से आलोक अग्रवाल के साथ गंगाराम श्रवण, आनंदराम धन्नालाल, लोकेश पूरी, महेशपुरी, राजेंद्र, प्रेमगीर, मोहनभारती, ओमगिरि, कबीरदास, जगदीश लक्ष्मण भाई और पूजन अर्जुन ने जल सत्याग्रह शुरू कर दिया है।

आंदोलनकारी कामनखेड़ा गांव में नर्मदा नदी के पानी में खड़े हैं। उनका कहना है कि सरकार उनकी मांगों को पूरा करे। नर्मदा नदी पर बने ओंकारेश्वर बांध का जलस्तर 193 मीटर से बढ़ाकर 196़6 मीटर किया जा रहा है। 21 अक्टूबर से जलस्तर बढ़ाने का दौर शुरू हो गया है, वर्तमान में 194 मीटर पर जलस्तर पहुंचने से कई गांव टापू में बदलने लगे हैं और गांव व खेत तक जाने वाले मार्ग भी जलमग्न हो चले हैं।

Created On :   25 Oct 2019 1:30 PM GMT

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