दहेज के लिए प्रताडि़त बहू ने की आत्महत्या, आरोपी सास को नहीं दे सकते अग्रिम जमानत

दहेज के लिए प्रताडि़त बहू ने की आत्महत्या, आरोपी सास को नहीं दे सकते अग्रिम जमानत

Bhaskar Hindi
Update: 2020-07-25 08:33 GMT
दहेज के लिए प्रताडि़त बहू ने की आत्महत्या, आरोपी सास को नहीं दे सकते अग्रिम जमानत

आरोपी महिला की ओर से दायर दूसरी अर्जी खारिज करके हाईकोर्ट ने कहा
डिजिटल डेस्क जबलपुर।
दहेज के लिए दी जा रही प्रताडऩा से तंग आकर बहू द्वारा आत्महत्या करने के मामले में हाईकोर्ट ने आरोपी सास की दूसरी जमानत अर्जी भी खारिज कर दी है। अपने फैसले में जस्टिस राजीव कुमार दुबे ने कहा- शादी के तीसरे साल में ही आरोपी सास व अन्य द्वारा दहेज के लिए अपनी बहू को इस हद तक प्रताडि़त किया गया, कि वह आत्महत्या करने मजबूर हो गई। ऐसे में अपराध की गंभीरता को देखते हुए आरोपी महिला को अग्रिम जमानत का लाभ देना न्यायोचित नहीं हैं। अदालत ने यह फैसला सतना जिले के नयागाँव थानांतर्गत वार्ड नं. 11 में रहने वाली गीता देवी की जमानत अर्जी पर दिया। अभियोजन के अनुसार आरोपी गीता देवी के पुत्र अशोक वीर विक्रम उर्फ विवेक की शादी लक्ष्मी पटेल से हुई थी। विवाह के बाद से ही गीता देवी, उसके पति मथुरा प्रसाद, पुत्र अशोक वीर, विपिन और शुभम, लक्ष्मी को मायके से 10-12 लाख रुपए लाने प्रताडि़त करते थे, जिसकी वजह से लक्ष्मी ने शादी के 3 साल के अंदर ही 25 दिसंबर 2019 को जहर खाकर आत्महत्या कर ली थी। इस मामले में आरोपी गीता देवी की पहली जमानत अर्जी 3 फरवरी 2020 को यह कहते हुए वापस ले ली गई थी कि वह निचली अदालत में सरेण्डर कर देगी। इसके बाद यह दूसरी अर्जी दायर की गई, जो सुनवाई के बाद अदालत ने खारिज कर दी। शासन की ओर से पैनल अधिवक्ता प्रदीप गुप्ता ने पैरवी की।
रेत के अवैध परिवहनकर्ता को जमानत नहीं
छतरपुर में रेत के अवैध परिवहन से जुड़े मामले में जस्टिस राजीव कुमार दुबे की एकलपीठ ने उस ट्रैक्टर मालिक की जमानत अर्जी खारिज कर दी, जिसके ट्रैक्टर से अवैध रेत का परिवहन किया जा रहा था। अदालत ने कहा है कि इस मामले की विवेचना अभी जारी है और आरोपी से पूछताछ किया जाना जरूरी है, इसलिए उसे अग्रिम जमानत का लाभ नहीं दिया जा सकता। यह जमानत अर्जी छतरपुर के सिविल लाइन्स थानांतर्गत संध्या विहार कॉलोनी में रहने वाले दीपक मिश्रा की ओर से दायर की गई थी। 10 जून 2020 को सिविल लाइन्स पुलिस ने आरोपी के ट्रैक्टर को रेत के अवैध परिवहन के आरोप में पकड़ा था। सुनवाई के दौरान शासन की ओर से पैनल अधिवक्ता प्रदीप गुप्ता ने पक्ष रखा।
पीडब्ल्यूडी के एसडीओ के तबादले पर सशर्त रोक
जस्टिस विजय कुमार शुक्ला की एकलपीठ ने रायसेन जिले के बेगमगंज उपसंभाग पर पदस्थ एसडीओ जाहिर मोहम्मद कुरैशी के बीते 10 जुलाई को निवाड़ी जिले में किये गये तबादले पर सशर्त रोक लगा दी है। अदालत ने कहा है कि तबादले के खिलाफ याचिकाकर्ता के आवेदन का निराकरण किया जाए और तब तक उसे बेगमगंज उपसंभाग पर ही पदस्थ रहने दिया जाए। याचिकाकर्ता की ओर से अधिवक्ता मनोज कुशवाहा ने पक्ष रखा।
अगले सप्ताह भी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से ही होगी सुनवाई
कोरोना के बढ़ते संक्रमण के चलते उच्च न्यायालय प्रशासन ने तय किया है कि अगले सप्ताह भी प्रदेश की अदालतों में मुकदमों की सुनवाई वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से ही की जाएगी। चीफ जस्टिस अजय कुमार मित्तल के आदेश पर रजिस्ट्रार जनरल राजेन्द्र कुमार वाणी द्वारा शुक्रवार को जारी परिपत्र में कहा गया है कि 27 से 31 जुलाई तक हाईकोर्ट की इन्दौर खण्डपीठ को छोड़कर शेष सभी जिलों की अदालतों में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से ही मुकदमों की सुनवाई की जाएगी, साथ ही जिन जिलों में सरकार द्वारा कफ्र्यू या पूरी तरह से लॉकडाउन घोषित किया जाता है, तो वहाँ की अदालतों में सुनवाई की प्रक्रिया सीमित ही रहेगी।
 

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