अमेजन का झांसा देकर ठगी खाते से नकदी निकाल ली, जानिए नागपुर के व्यापारी से इंग्लैंड में कैसे की धोखाधड़ी

अमेजन का झांसा देकर ठगी खाते से नकदी निकाल ली, जानिए नागपुर के व्यापारी से इंग्लैंड में कैसे की धोखाधड़ी

Tejinder Singh
Update: 2019-08-25 11:13 GMT
अमेजन का झांसा देकर ठगी खाते से नकदी निकाल ली, जानिए नागपुर के व्यापारी से इंग्लैंड में कैसे की धोखाधड़ी

डिजिटल डेस्क, नागपुर। अंबाझरी थानांतर्गत धोखाधड़ी का मामला हुआ है। प्रकरण दर्ज कर अपराध शाखा के साइबर सेल को मामले की जांच सौंपी गई है। रामनगर निवासी सेवानिृवत्त दिनेश रत्नपारखी (61) को 11 जुलाई को किसी परिचित का फोन आया था। फोनकर्ता ने खुद को अमेजन कंपनी का कर्मचारी बताया। बातों ही बातों में उसने ऑनलाइन मार्केटिंग का झांसा देकर उनके खाते का ओटीपी नंबर हासिल किया और 86 हजार रुपए की नकदी दिनेश के खाते से गायब कर दी। मामले की तत्काल शिकायत की गई। शनिवार को प्रकरण दर्ज कर साइबर सेल को इसकी जांच सौंपी गई है।

नागपुर के व्यापारी से इंग्लैंड में धोखाधड़ी, लगाई लाखों की चपत

इंग्लैंड के एक ठगबाज ने नागपुर के पेपर व्यापारी के साथ 9,620 डालर यानी करीब 6 लाख रुपए की धोखाधड़ी की थी। शहर के साइबर विशेष के प्रयास से इस व्यापारी को उसकी यह रकम वापस मिल गई।  देश में ही नहीं बल्कि विश्व में कहीं पर भी ऑनलाइन धोखाधड़ी करने वाले हैकर्स और ठगबाजों से रकम वापस मिल सकती है। इसके लिए बस ठीक दिशा में प्रयास किया जाना चाहिए। यह जानकारी साइबर क्राइम एक्सपर्ट एड. महेंद्र लिमये ने शनिवार को सीताबर्डी स्थित कार्यालय में पत्र परिषद में दी। उन्होंने बताया कि नागपुर के पेपर व्यावसायिक दिलीप सिंघी ने फरवरी 2019 में इंग्लैंड में मिडलटन पेपर्स कंपनी से पेपर खरीदी का ऑनलाइन करार किया। करार के अनुसार आधी रकम यानी की 9 हजार 620 डॉलर्स (6 लाख रुपए) उन्होंने कंपनी के एजेंट के बताए अनुसार बैंक खाते में जमा किया। ऑनलाइन दस्तावेजों की जांच हुई। सिंघी को एक माह के अंदर माल भेजने की बातचीत हुई। दो माह बीत जाने पर भी कंपनी के एजेंट ने सिंघी को भारत में माल भेजा ही नहीं तब सिंघी ने छानबीन शुरू की। इस दौरान एजेंट ने उनसे 20 प्रतिशत रकम बैंक खाते में जमा करने के लिए कहा। सिंघी को एजेंट पर शक हो गया। उन्होंने इंग्लैंड के इर्विन शहर में रहने वाले अपने रिश्तेदारों से उक्त कंपनी के बारे में छानबीन करने को कहा। इसके पीछे कारण यह माना जा सकता है कि उन्हें साइबर अपराध के बारे में अधिक जानकारी नहीं होती है। संभवत: यही कारण है कि साइबर पुलिस विभाग में प्रकरण धूल खाते पड़े रहते हैं। चर्चा है कि साइबर प्रकरण काफी पेचिदा मामला होने के कारण कई पुलिस अधिकारी जांच ही नहीं करते हैं और कुछ अधिकारियों काे तो इसकी तकनीकी जानकारी भी नहीं होती है।

किराना व्यवसायी से साढ़े 4 लाख की लूट

कलमना क्षेत्र के चिखली परिसर में एक्टिवा से घर जाते समय एक किराना व्यापारी से अज्ञात तीन लुटेरे एक्टिवा छीनकर फरार हो गए। एक्टिवा की डिक्की में करीब साढ़े 4 लाख रुपए की नकदी थी। किराना व्यवसायी शिवकुमार गुप्ता ने कलमना थाने पहुंचकर शिकायत की। पुलिस सूत्रों के अनुसार, हिवरीनगर निवासी शिवकुमार गुप्ता की आशीष ट्रेडिंग कंपनी है। उनका किराना का कारोबार है। शनिवार शाम करीब 7.45 बजे वह अपनी एक्टिवा से करीब साढ़े 4 लाख रुपए लेकर घर जा रहे थे। इस दौरान चिखली परिसर में पीछे से एक पल्सर पर आए तीन लुटेरों ने उन्हें धक्का देकर नीचे गिराया। उसके बाद एक्टिवा छीनकर फरार हो गए। बताया जाता है कि घटना के बाद शिवकुमार गुप्ता कलमना थाने में शिकायत करने पहुंचे थे। देर रात तक पुलिस मामले की छानबीन कर रही थी। 

देवलापार में दो ट्रक पकड़े लाखों का किया माल जब्त 

राष्ट्रीय महामार्ग क्र.44 पर देवलापार पुलिस ने छापा मारा। सुपारी से भरे दो ट्रक पकड़े गए हैं। इससे अंतरराज्यीय स्तर पर लाखों रुपए की सुपारी की तस्करी होने का खुलासा हुआ है। अभी तक किसी ने सुपारी पर अपना दावा नहीं बोला है। फिलहाल दोनों चालकों के खिलाफ प्रकरण दर्ज कर उन्हें गिरफ्तार किया गया है। गिरफ्तार आरोपियों में ट्रक चालक नंदराम माकन (25) मध्य प्रदेश के सागर जिले का निवासी है और कमलेश प्रजापति (35) मध्य प्रदेश के होशंगाबाद जिले के खापरखेड़ा का निवासी है। शुक्रवार की दोपहर देवलापार पुलिस को गुप्त जानकारी मिली थी कि अंतरराज्यीय स्तर पर सुपारी की तस्करी हो रही है। सुपारी से भरे ट्रक क्र.एमपी 05 एचएच 31377 और पीबी 13 बीडी 5537 राष्ट्रीय महामार्ग क्र.44 से गुजरने वाले हैं। इसकी गंभीरता से पुलिस ने मार्ग में बोथिया पालोरा गेट पर जाल बिछाया। नाकाबंदी की गई। इस दौरान दोनों ट्रकों को पकड़ा गया है। तलाशी के दौरान इन ट्रकों से 60 टन सुपारी बरामद हुई है। इसकी कीमत लाखों रुपए है। ट्रकों समेत डेढ़ करोड़ रुपए का माल जब्त िकया गया है। आरोपी चालकों से इस संबंध में पूछताछ जारी है, लेकिन अभी तक उन्होंने पुलिस के सामने मुंह नहीं खोला है, जिससे यह तस्करी कर चोरी-छुपे लाए जाने की आशंका व्यक्त की जा रही है। जांच जारी है। 

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