राज्यसभा उपसभापति चुनाव: बीके हरिप्रसाद होंगे विपक्ष के उम्मीदवार

राज्यसभा उपसभापति चुनाव: बीके हरिप्रसाद होंगे विपक्ष के उम्मीदवार

Bhaskar Hindi
Update: 2018-08-08 04:17 GMT
राज्यसभा उपसभापति चुनाव: बीके हरिप्रसाद होंगे विपक्ष के उम्मीदवार
हाईलाइट
  • 9 अगस्त को उपसभापति के लिए होगी वोटिंग।
  • कांग्रेस नेता बीके हरिप्रसाद होंगे विपक्ष के साझा उम्मीदवार।
  • राज्यसभा उपसभापति चुनाव।

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। राज्यसभा के उपसभापति के लिए विपक्ष ने कांग्रेस नेता बीके हरिप्रसाद को अपना साझा उम्मीदवार बनाया है। विपक्ष ने उम्मीदवार चुनने का अधिकार कांग्रेस को दिया था। दूसरी ओर एनडीए की ओर से बीजेपी ने अपने सहयोगी दल जेडीयू सांसद हरिवंश नारायण को उम्मीदवार बनाया है, शिवसेना भी NDA उम्मीदवार हरिवंश को समर्थन देने के मूड में है। 

 

 

नीतीश ने नवीन पटनायक से की हरिवंश के समर्थन की अपील

बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने उड़ीसा के सीएम नवीन पटनायक से भी हरिवंश नारायण का समर्थन करने की अपील की थी। वहीं विपक्ष की तरफ से शरद पवार की नेशनलिस्ट कांग्रेस पार्टी (NCP) ने लड़ने से मना कर दिया है। हालांकि इससे पहले यह खबर थी कि NCP सांसद वंदना चव्हाण विपक्ष की उम्मीदवार बन सकती हैं। विपक्ष के उम्मीदवार के लिए मंगलवार की शाम को  विपक्षी दलों के नेताओं की बैठक भी हुई थी।

 

चुनाव में नंबर जुटा पाना सबसे बड़ी चुनौती

दरअसल इस चुनाव में NDA और UPA के पास नंबर जुटा पाना सबसे बड़ी चुनौती है, क्योंकि दोनों के पास ही जीत के लिए जरुरी आंकड़े नहीं हैं। इस तरह में राज्यसभा में 9 सीटों वाला बीजू दल हार-जीत के इस खेल में किंगमेकर का रोल प्ले कर सकता है। हाल ही में सेवानिवृत्त हुए उपसभापति पीजे कुरियन का कार्यकाल जुलाई में खत्म हो गया था।

 

बीजेपी के पास 73 सीटें, कांग्रेस के पास 50 

वर्तमान में राज्यसभा में 244 सांसद वोट डाल सकते हैं। किसी भी दल को जीतने के लिए 123 सीटें मिलना जरूरी है। राज्यसभा में एनडीए के पास 115 सीटें हैं, जिनमें से सबसे ज्यादा बीजेपी के पास 73 सीटें हैं। वहीं यूपीए के पास 113 सीटें हैं। जिनमें कांग्रेस के पास 50 सीटें हैं। वहीं अन्य दलों के पास राज्यसभा में 16 सीटें हैं। इनमें सबसे ज्यादा 9 सीटें बीजेडी के पास हैं।

 

बीजेडी के पास हार- जीत की चाभी 

बीजेडी के 9 सांसदों ने अगर एनडीए उम्मीदवार को वोट दिया तो एनडीए के पास 124 सीटें हो जाएंगी। जो कि बहुमत से एक सीट ज्यादा होगी। वहीं बीजेडी यूपीए को समर्थन देती है तो यूपीए के पास 122 सीटें हो जाएंगी। ऐसी स्थिति में यूपीए को बहुमत के लिए एक और सीट की जरूरत होगी।

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