अदालत में पेंडिंग 3 करोड़ से ज्यादा मुकदमे, चीफ जस्टिस ने रोकी सभी जजों की छुट्टियां

Chief Justice of india ranjan gogoi bans holiday of all judges
अदालत में पेंडिंग 3 करोड़ से ज्यादा मुकदमे, चीफ जस्टिस ने रोकी सभी जजों की छुट्टियां
अदालत में पेंडिंग 3 करोड़ से ज्यादा मुकदमे, चीफ जस्टिस ने रोकी सभी जजों की छुट्टियां
हाईलाइट
  • भारत की अदालतों में तीन करोड़ से ज्यादा मामले लंबित
  • भारत के मुख्य न्यायधीश रंजन गोगोई ने वर्किंग डे के दौरान नो-लीव का फार्मूला निकाला है
  • वर्किंग डे के दौरान जजों को नहीं मिलेंगी छुट्टियां

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। देश की अदालतों में तीन करोड़ से ज्यादा मामले लंबित हैं। इन लंबित मामलों को लेकर मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई ने वर्किंग डे के दौरान नो-लीव का फॉर्मूला निकाला है। इस फॉर्मूले के मुताबिक वर्किंग-डे के दौरान कोई भी जज छुट्टी नहीं ले सकेगा। देश की न्यायपालिका की त्रिस्तरीय व्यवस्था में करोड़ों लंबित मामले इंसाफ की राह में रोड़ा बने हुए हैं। इस वजह से न्याय लोगों सही समय पर न्याय नहीं मिल रहा है। अदालतों में लंबित मामलों के बोझ को कम करने के लिए देश के चीफ जस्टिस रंजन गोगोई ने कार्यदिवस के दौरान "नो लीव" (कोई छुट्टी नहीं) का फॉर्मूला निकाला है। 

बता दें कि जस्टिस गोगोई ने सुप्रीम कोर्ट, हाई कोर्ट और ट्रायल कोर्ट में लंबित करोड़ों मामलों का बोझ हल्का करने के लिए ऐसा कदम उठाने के संकेत पहले ही दे दिए थे। हाईकोर्ट के किसी जज या निचली अदालत के किसी न्यायिक अधिकारी को आपात स्थिति को छोड़कर वर्किंग-डे में छुट्टी मंजूर न करने पर जोर देने के अलावा जस्टिस गोगोई ने वर्किंग डे पर सेमिनार या आधिकारिक कार्यक्रम से दूर रहने को कहा है। क्योंकि इस वजह से अगले दिन की सुनवाई के दौरान सामने आने वाले मामलों का वक्त जाया होता है।

वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के बाद एक आधिकारिक खत के जरिए जस्टिस गोगोई ने अदालती कार्यदिवस के दौरान जजों के LTC लेने पर भी रोक लगाई है। इसके चलते जजों को अपने पारिवारिक अवकाश को काफी पहले से प्लान करना होगा, साथ ही दूसरे जजों और चीफ जस्टिस के साथ छुट्टियों की उपलब्धता को लेकर सामंजस्य बनाना होगा। काम में कड़े अनुशासन की नसीहत के बाद सीजेआई ने हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीशों और वरिष्ठ जजों से न्यायपालिका में बड़े पैमाने पर खाली पदों को भरने के लिए फौरन कदम उठाने को कहा है। बता दें कि देश की निचली अदालतों में करीब 2.6 करोड़ से ज्यादा मामले लंबित हैं। 

लंबित पड़े मामले 

  • सुप्रीम कोर्ट में करीब 55,000 मुकदमे लंबित
  • 24 हाई कोर्ट में 32.4 लाख मामले अभी लंबित
  • निचली अदालतों में 2.77 करोड़ मामले लंबित

 

Created On :   12 Oct 2018 7:46 AM IST

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