हाईकोर्ट से चिदंबरम को झटका, जमानत याचिका खारिज, 3 अक्टूबर तक रहना होगा तिहाड़ में

High court rejects Chidambarams bail plea in INX Media corruption case
हाईकोर्ट से चिदंबरम को झटका, जमानत याचिका खारिज, 3 अक्टूबर तक रहना होगा तिहाड़ में
हाईकोर्ट से चिदंबरम को झटका, जमानत याचिका खारिज, 3 अक्टूबर तक रहना होगा तिहाड़ में
हाईलाइट
  • 27 सितंबर को अदालत ने उनकी याचिका पर फैसला सुरक्षित रख लिया था
  • उन्हें आईएनएक्स मीडिया भ्रष्टाचार मामले में गिरफ्तार किया गया है
  • दिल्ली हाईकोर्ट ने पी चिदंबरम को जमानत देने से इनकार कर दिया

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। दिल्ली हाईकोर्ट ने सोमवार को पूर्व वित्त मंत्री और वरिष्ठ कांग्रेस नेता पी चिदंबरम को जमानत देने से इनकार कर दिया। उन्हें आईएनएक्स मीडिया भ्रष्टाचार मामले में गिरफ्तार किया गया है। 27 सितंबर को अदालत ने उनकी याचिका पर फैसला सुरक्षित रख लिया था। बता दें कि चिदंबरम को 21 अगस्त को गिरफ्तार किया गया था और वह 3 अक्टूबर तक न्यायिक हिरासत में तिहाड़ जेल में हैं।

सेंट्रल ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन (CBI) ने शुक्रवार को चिदंबरम की जमानत याचिका का विरोध करते हुए कहा था कि वह देश छोड़कर भाग सकते हैं। उधर, चिदंबरम के वकील कपिल सिब्बल ने अदालत से कहा था कि पी. चिदंबरम कभी इंद्राणी मुखर्जी से नहीं मिले, इस बात को पीटर मुखर्जी ने भी स्वीकारा है। इसके बाद सीबीआई की ओर से कहा गया कि मार्च 2007 में पीटर मुखर्जी और इंद्राणी एक तीसरे व्यक्ति के साथ पी. चिदंबरम से मिले, इंद्राणी और पीटर मुखर्जी होटल ओबरॉय में ठहरे थे। उन्होंने ये भी कहा कि  पी. चिदंबरम की विजिटर डायरी के साथ छेड़छाड़ हुई है।

73 साल के चिदंबरम को सीबीआई ने 21 अगस्त को उनके जोर बाग स्थित आवास से गिरफ्तार किया था। उन्हें 22 अगस्त को कोर्ट में पेश किया गया था और चार दिन की सीबीआई हिरासत में भेज दिया गया था। बाद में उन्हें  5 सितंबर को 14 दिनों के लिए न्यायिक हिरासत में तिहाड़ जेल भेज दिया गया। 14 दिनों की न्यायिक हिरासत खत्म होने के बाद उन्हें अदालत में पेश किया गया था जिसके बाद उनकी न्यायिक हिरासत को 3 अक्टूबर तक बढ़ा दिया गया।

पी चिदंबरम के वकीलों ने इस दौरान अदालत में एक अन्य आवेदन भी दिया था जिसमें कहा गया था कि चिदंबरम प्रवर्तन निदेशालय (ED) मामले में आत्मसमर्पण करना चाहते हैं। चिदंबरम के इस आवेदन पर 12 सितंबर को सुनवाई हुई थी। हालांकि अदालत ने चिंदबरम के इस आवेदन को खारिज कर दिया था।

इस दौरान ED की तरफ से सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने चिदंबरम के आवेदन का विरोध किया था। उन्होंने स्पेशल जज अजय कुमार कुहर से कहा था, "हमने इस मामले के छह लोगों को तलब किया है। उनमें से तीन से पूछताछ की गई। हमें सभी छह व्यक्तियों से पूछताछ करना है ताकि हम आरोपी (चिदंबरम) का उनसे सामना करा सकें। वह (चिदंबरम) सबूतों से छेड़छाड़ करने की स्थिति में नहीं है क्योंकि वह पहले से ही न्यायिक हिरासत में है।" उन्होंने कहा "उचित समय पर चिदंबरम को गिरफ्तार किया जाएगा।"

बता दें कि 2007 में जब UPA-1 में चिदंबरम वित्त मंत्री थे उस वक्त उन्होंने मुंबई की INX मीडिया कंपनी को फॉरेन इन्वेस्टमेंट प्रमोशन बोर्ड (FIPB) की मंजूरी दिलाने में मदद की थी। उन्होंने अनियमितता बरतते हुए मीडिया समूह को FIPB क्लीयरेंस दे दिया। इसके बाद INX को 305 करोड़ रुपए मिले। इस मामले में CBI ने 15 मई, 2017 को एक एफआईआर दर्ज की थी। पिछले साल ED ने भी इस मामले में मनी-लॉन्ड्रिंग का केस दर्ज किया था। चिदंबरम के बेटे कार्ति चिदंबरम भी मामले में आरोपी हैं।

INX मीडिया कंपनी के मालिक पीटर मुखर्जी और इंद्राणी मुखर्जी हैं, जो अपनी बेटी शीना बोरा के मर्डर के आरोप में जेल में बंद हैं। 

Created On :   30 Sept 2019 3:57 PM IST

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