बीजेपी सांसद की पीएम को चिट्ठी, कहा- आपकी सरकार ने 4 साल में कुछ नहीं किया

UP Dalit BJP MP Yashwant Singh Write letter to PM Narendra Modi
बीजेपी सांसद की पीएम को चिट्ठी, कहा- आपकी सरकार ने 4 साल में कुछ नहीं किया
बीजेपी सांसद की पीएम को चिट्ठी, कहा- आपकी सरकार ने 4 साल में कुछ नहीं किया

डिजिटल डेस्क, मेरठ। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह के नेतृत्व में भारत विजय के अभियान पर निकली बीजेपी रोज नए-नए कीर्तिमान स्थापित कर रही है और विपक्ष भी इसे रोक पाने में असमर्थ नजर आ रहा है लेकिन यह सब देखकर ये मान लिया जाए कि पार्टी में सबकुछ ठीक चल रहा है तो यह बेमानी होगी। दरअसल एससी-एसटी (अनुसूचित जाति-जनजाति) एक्ट और आरक्षण के मुद्दे को लेकर पार्टी अपनों से ही घिर गई है। बीजेपी के दलित नेता लगातार इस एक्ट के विरोध में अपनी आवाज उठा रहे हैं और इस सूची में अब एक नया नाम नगीना से बीजेपी सांसद डॉ. यशवंत सिंह का जुड़ गया है। अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए बीजेपी सांसद डॉ. यशवंत सिंह ने पीएम नरेंद्र मोदी को एक चिट्ठी लिखी है इसमें उन्होंने आरोप लगाया है कि पिछले 4 साल में दलितों के हित में कोई काम नहीं हुआ है। इस चिट्ठी के माध्यम से सांसद ने पीएम मोदी से आग्रह किया है कि जल्द से जल्द आरक्षण बिल को पास कराया जाए।

 



सांसद की पीएम को चिट्ठी

पीएम मोदी के नाम अपनी चिट्ठी में सांसद ने लिखा कि "मैं खुद आरक्षण की वजह से ही सांसद बन पाया हूं, लेकिन मेरी योग्यता का पूरी तरह से उपयोग नहीं हो पा रहा है।" सांसद ने आगे लिखा कि "जब मैं सांसद बना था तब आपसे मिलकर मैंने प्रमोशन में आरक्षण बिल को पास कराने का अनुरोध किया था। इसके अलावा समाज के विभिन्न संगठनों द्वारा भी यह मांग समय-समय पर उठाई जाती रही है लेकिन पिछले 4 सालों दलितों के हितों के लिए किसी भी तरह के कार्य नहीं किए गए हैं।"

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3 बीजेपी नेता पहले ही जता चुके नाराजगी


1. यूपी के रॉबर्ट्सगंज से लोकसभा सांसद छोटेलाल ने पार्टी में भेदभाव का आरोप लगाया। सांसद छोटेलाल ने अपने भाई को ब्लॉक प्रमुख के पद से हटवाए जाने पर नाराजगी जाहिर की और दावा किया है कि एक बीजेपी नेता की मिलीभगत के कारण ऐसा हुआ है । इस बात से नाराज होकर सांसद ने पीएम मोदी को एक पत्र लिखा है। इस पत्र में छोटेलाल ने कहा कि उनके साथ ऐसा इसलिए किया गया क्योंकि उन्होंने गैर आरक्षित सीट पर अपने भाई को जिताने में मदद की। छोटेलाल ने आगे लिखा कि उन्होंने इस मुद्दे को लेकर मुख्यमंत्री से मुलाकात करने की कोशिश की लेकिन दोनों ही बार उन्हें डांटकर भगा दिया गया।

2. यूपी के इटावा से भाजपा सांसद अशोक दोहरे ने भी दलित आंदोलन को लेकर अपनी ही पार्टी से नाराजगी जताई है। सांसद का कहना है कि भारत बंद के बाद दलितों के खिलाफ पुलिस झूठे मुकदमे दर्ज कर रही है। उनपर जाति सूचक शब्दों का इस्तेमाल करते हुए उन्हें घर से बाहर निकालकर पीट रही है। इससे उन लोगों में असुरक्षा की भावना पैदा हो गई है।

3. वहीं बीजेपी सांसद सावित्री बाई फुले भी आरक्षण के मुद्दे पर अपनी पार्टी के खिलाफ खड़ी नजर आ रही हैं। फुले ने साफ कहा है कि चाहे वो सांसद रहें या न रहें लेकिन आरक्षण से किसी भी तरह की छेड़छाड़ बर्दाश्त नहीं करेंगी। खबर यह भी है कि अपनी नाराजगी के चलते सांसद सावित्री बाई फुले पार्टी से अपना नात तोड़ बीएसपी में शामिल हो सकती है।

पीएम ने बीजेपी को बताया गरीबों और पिछड़ों की पार्टी

बीजेपी के दलित नेताओं की अपनी ही पार्टी से नाराजगी कई मायनों में चौंकाने वाली है क्योंकि खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बीजेपी को गरीबों और पिछड़ों की पार्टी बता चुके हैं। बीजेपी के 38वें स्थापना दिवस के मौके पर पीएम मोदी ने कि देश में किसी भी राजनीतिक पार्टी से ज्यादा बीजेपी ने दलितों को अपना उम्मीदवार बनाया और यही वजह है कि देश में सबसे ज्यादा दलित सांसद और विधायक बीजेपी से हैं। पीएम मोदी ने कहा कि इससे बड़ा प्रमाण और क्या चाहिए कि देश के सर्वोच्च पदों पर बीजेपी ने पिछड़े समाज से ताल्लुक रखने वाले लोगों को मौका दिया है।

Created On :   7 April 2018 10:41 AM IST

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