हॉस्पिटल का बिल नहीं भरा तो महिला को 12 दिनों तक बनाया बंधक

डिजिटल डेस्क, पटना। मानवता को शर्मसार करने वाला एक मामला बिहार के मधेपुरा से सामने आया है। यहां एक महिला को बिल ना भरने की वजह से 12 दिनों तक हॉस्पिटल में कैद कर रखा गया। गौरतलब है कि इस महिला की हॉस्पिटल में डिलीवरी हुई थी और 70 हजार का बिल हो जाने के बाद वो इस बिल को नहीं चुका पाई जिस वजह से उसे हॉस्पिटल से जाने नहीं दिया गया। बाद में स्थानीय सांसद राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव के दखल के बाद उसे घर जाने दिया गया है।
मेधपुरा के चौरा गांव की रहने वाली ललिता देवी 12 नवंबर को अगम कुआं एरिया में मां शीतला इमरजेंसी हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया था, जहां उन्होंने बच्चे को जन्म दिया। एक पुलिस अधिकारी ने बताया, "इलाज के बाद हॉस्पिटल ने ललिता का डेढ़ लाख रुपये का बिल दिया, लेकिन बाद में 70 हजार में डिस्चार्ज करने पर सहमति बन गई थी।"
इसके बाद हॉस्पिटल में बने बिल का भुगतान करने के लिए ललिता के 7 साल के बेटे कुंदन ने भीख मांगना शुरू कर दिया, जबकि उसके पति निर्धन राम ने आस-पास के लोगों से मांगकर 50 हजार रुपयों का इंतजाम किया, लेकिन 20 हजार रुपए कम पड़ने के कारण हॉस्पिटल ने ललिता को डिस्चार्ज करने से मना कर दिया।
अखबार के कारण घर पहुंच गई ललिता
गौरतलब है कि एक स्थानीय पेपर में कुंदन की समस्या और उसकी भीख मांगते हुए खबर छपने के बाद सांसद पप्पू यादव ने इस पर संज्ञान लिया और हॉस्पिटल को अपनी जेब से 25 हजार देने की पेशकश की। उन्होंने पुलिस और पटना के सिविल सर्जन डॉक्टर प्रमोद झा को भी इसकी जानकारी दी। जिसके बाद महिला को पुलिस की निगरानी में हॉस्पिटल से निकलवा कर एम्बुलेंस में घर भेजा गया।
इस बीच पुलिस ने हॉस्पिटल की मालिक निशा भारती के खिलाफ भी खुद को डॉक्टर के तौर पर दिखाने के आरोप में मामला दर्ज किया। उसके खिलाफ नर्सिंग और मिडवाइफ का कोर्स करने के बावजूद बगैर रजिस्ट्रेशन के हॉस्पिटल चलाने का आरोप है।
Created On :   27 Nov 2017 11:35 AM IST