नियम बदले तो बढ़ सकती हैं विस्फोटक बल्लेबाजों की मुश्किलें

डिजिटल डेस्क,मुबंई। मेलबर्न क्रिकेट क्लब (एमसीसी) की गाइड लाइंस के मुताबिक अगर नियमों में बदलाव किया गया, तो धुरंधर बल्लेबाजों की दिक्कतें बढ़ सकती हैं। दरअसल एमसीसी ने बैट के निचले हिस्से के किनारों की सीमा तय करते हुए 40 एमएम कर दी है। इसका मतलब ये है कि जो भी खिलाड़ी इससे ज्यादा आकार वाले बैट इस्तेमाल करते थे अब उन्हें नए बल्ले की जरूरत पड़ेगी।
चौड़े किनारों वाले बैट्स महेंद्र सिंह धोनी, डेविड वॉर्नर, क्रिस गेल और केरॉन पोलार्ड जैसे बल्लेबाज इस्तेमाल करते हैं और चौंके-छक्के लगाने के लिए मशहूर हैं। लेकिन साउथ अफ्रीका के एबी डिविलियर्स, ऑस्ट्रेलियाई कप्तान स्टीव स्मिथ और इंग्लैंड के जो रूट के बल्ले का किनारा 40एमएम से कम है।
अगर डेविड वॉर्नर, क्रिस गेल और पोलार्ड की बात करें, तो ये सभी 50 एमएम किनारे वाले बल्ले का इस्तेमाल करते हैं। ये बल्ला उन्हें गेंदबाजों की धुनाई करने में मदद करता है, खासकर टी20 में। वहीं भारतीय विकेटकीपर महेंद्र सिंह धोनी 45 एमएम के किनारों वाले बल्ले का इस्तेमाल करते हैं। वहीं पोलार्ड ने अपना बल्ला बदल लिया है। आईपीएल के दौरान उन्होने मीडिया कर्मियों से भी कहा था कि अक्टूबर के पहले ही वह बल्ला बदल देंगे।
चौड़े किनारों वाले बल्ले धोनी के अलावा ज्यादातर भारतीय बल्लेबाज यूज करते हैं, लेकिन उसकी सीमा 40 एमएम के दायरे में है। कप्तान विराट कोहली, केएल राहुल, शिखर धवन, चेतेश्वर पुजारा और ऋषभ पंत के बैट भी नियमों के मुताबिक ही हैं।
Created On :   19 July 2017 12:29 PM IST