भारतीय सेना के जवानों की जिंदगी बचाने आगरा से बुलाया एयर क्राफ्ट-एयरपोर्ट भी खुलवाया

भारतीय सेना के जवानों की जिंदगी बचाने आगरा से बुलाया एयर क्राफ्ट-एयरपोर्ट भी खुलवाया

Bhaskar Hindi
Update: 2020-03-30 08:38 GMT
भारतीय सेना के जवानों की जिंदगी बचाने आगरा से बुलाया एयर क्राफ्ट-एयरपोर्ट भी खुलवाया

डिजिटल डेस्क  जबलपुर।  भारतीय सेना ने अपने जवानों की जिंदगी बचाने के लिए महज चंद घंटों में बड़े फैसले ले लिए।  एक दिन पहले आर्मी बेस वर्कशॉप में हुए हादसे के बाद सेना के ऑफीसरों से सीधे दिल्ली हैड क्वार्टर को इत्तला की। इसके तत्काल बाद आगरा बेस से एयर क्राफ्ट ने जबलपुर के लिए उड़ान भरी। एक और समस्या एयरपोर्ट बंद होने की रही। एविएशन अधिकारियों से संपर्क कर एयर कंट्रोल टॉवर को चालू कराया गया, तब कहीं जाकर घायल फौजियों को एयर लिफ्ट कराया जा सका। बहरहाल, अच्छी खबर यह है कि तीनों जवानों की हालत गंभीर लेकिन स्थित बताई जा रही है। 506 आर्मी बेस वर्कशॉप में एक दिन पहले हुए गंभीर हादसे पर भारतीय सेना से अपनी परंपरा के मुताबिक क्विक रिस्पांस दिखाया। सूत्रों का कहना है कि घायलों को दोपहर तकरीबन 1 बजे मिल्ट्री अस्पताल में भर्ती कराया गया। इसके बाद चिकित्सकों से प्राइमरी ओपिनियन लिया गया। इसके साथ ही आर्मी हैड क्वार्टर को खबर की गई। सैन्य मुख्यालय ने परिस्थितियों को देखते हुए घायलों को एयर लिफ्ट करने का निर्णय लिया और इसके लिए सेना के आगरा बेस को इत्तला की गई। 
 एमबी एरिया ने कमान सँभाली
आर्मी के स्पेशल एयर क्राफ्ट के उड़ान भरने से पहले जबलपुर स्थित डुमना एयरपोर्ट को खुलवाना भी एक अहम काम था लिहाजा मध्य भारत सेना मुख्यालय ने इसके लिए प्रयास शुरू किए। एयरपोर्ट की हरी झण्डी मिलने के साथ ही आगरा एयर बेस से एयर क्राफ्ट ने उड़ान भरी और जबलपुर से घायलों को लेकर लखनऊ के लिए टैकऑफ कर गया। सूत्रों का कहना है कि यह पूरी प्रक्रिया बेहद थोड़े समय में पूरी कर ली गई। नतीजतन, घायल जवानों को अत्याधुनिक और उच्च स्तरीय चिकित्सा सुविधा हासिल होने में ज्यादा वक्त नहीं लगा।     
2 घंटे चली मीटिंग
  मीटिंग को लेकर रविवार के दिन भी सुरक्षा संस्थान में सरगर्मी बनी रही। सूत्रों का कहना है कि प्रशासनिक अधिकारी रोज की तरह अपने समय पर पहुँचे और दिल्ली तथा लखनऊ से जुड़े विभागीय कामकाज को पूरा किया। इसके बाद दोपहर तकरीबन 3 बजे से श्रमिक नेताओं के साथ मीटिंग शुरू हुई। एक दिन पहले के हादसे तथा मौजूदा परिस्थितियों पर विचार विमर्श किया गया। इस दौरान सदस्य आर्मी हैड क्वार्टर, जेसीएम-3 लेवल अनिश शर्मा, जेएस भाटिया, विश्वरूप दास, संतोष यादव, इंद्रभान सिंह, अर्जन सिंह, लुईस जॉन मौजूद रहे। 
देश की सुरक्षा सर्वोपरि, मनोबल बढाएँ
   घटना के बाद कुछ श्रमिक नेताओं की प्रक्रिया और अफवाहों पर आर्मी बेस प्रशासन ने नाराजगी जाहिर की है। प्रशासन का कहना है कि हमारे लिए देश की सुरक्षा सर्वोपरि है। भारतीय सेना के जवान विकट से विकटतम परिस्थितियों में काम करते हैं लिहाजा, उनका मनोबल बढ़ाया जाना चाहिए। फिजूल की बयानबाजी और अफवाहों से जवानों के मनोबल पर असर पड़ सकता है और उनके परिजनों की परेशानी भी बढ़ सकती है।
 

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