जबलपुर चेम्बर ऑफ कॉमर्स एण्ड इंडस्ट्री के पदाधिकारियों द्वारा केन्द्रीय बजट पर चर्चा

जबलपुर जबलपुर चेम्बर ऑफ कॉमर्स एण्ड इंडस्ट्री के पदाधिकारियों द्वारा केन्द्रीय बजट पर चर्चा

Safal Upadhyay
Update: 2023-02-01 13:39 GMT
जबलपुर चेम्बर ऑफ कॉमर्स एण्ड इंडस्ट्री के पदाधिकारियों द्वारा केन्द्रीय बजट पर चर्चा

डिजिटल डेस्क,जबलपुर। जबलपुर चेम्बर के चेयरमैन प्रेम दुबे ने कहा- वित्त मंत्री द्वारा कर दायरे को 5 लाख से बढ़ाकर 7 लाख करना स्वागत योग्य कदम है स्टार्टअप के लिए बड़ी राशि का प्रावधान करना युवाओं को प्रोत्साहित करेगा। बजट में हर वर्ग के लिए कुछ न कुछ किया गया है। बचत प्रोत्साहन के लिए भी सरकार द्वारा कोई ठोस योजना प्रस्तावित नहीं की गई है। हालांकि सरकार द्वारा पूँजीगत खर्चों पर 13 लाख करोड़ का प्रावधान एवं सहकारिता क्षेत्र को टेक्स लाभ देना हमारी अधारभूत संरचना को विकसित करने में योगदान देगा।
हिमांशु खरे (फेडरेशन ऑफ म.प्र. चेम्बर्स ऑफ कॉमर्स के उपाध्यक्ष) ने कहा कि - बजट में उद्योग व्यापार के लिए आशिंक राहत देने का कार्य किया है। कोई भी नये कर कानून उद्योग-व्यापार पर थोपे नहीं गये है। यह बजट छोटे उद्योगों को प्रोत्साहित करने वाला है। 

अनिल अग्रवाल (सीए) ने कहा- वेतन भोगी कर्मचारी को नये टेक्स स्लेब के अंतर्गत 52500 रु. का स्टेंटर्ड डिटकशन प्रस्तावित करना एक अच्छा कदम है। इसी तरह छोटे उद्योगों के लिए क्रेडिट गारंटी स्कीम को 1 साल के लिए बढ़ाना एवं 9000 करोड़ रु. के प्रावधान करने से छोटे उद्योगों को लगभग 2 लाख करोड़ का अतिरिक्त लोन मिलना प्रस्तावित किया गया है।

महिलाओं के लिए एक नई बचत योजना जिसमें 7.5 प्रतिशत का ब्याज प्रस्तावित किया गया है। एक अच्छा कदम है। केवाइसी नियमों के अनुपालन के लिए डिजी लॉकर एप को एक स्त्रोत के रूप में प्रस्तावित करना व्यापार को सरल बनायेगा।

कर अधिवक्ता अभिषेक ध्यानी ने कहा- ई-व्हीकल, मोबाईल, टीवी, स्टील आदि पर कस्टम ड्यूटी घटाई गई है तो दुसरी तरफ स्टार्टअप अब अपने घाटे को 7 साल की बजाय 10 साल तक कैरीफावर्ड कर सकता है इसके अलावा आयकर में सरचार्ज की अधिकतम दर को 37 से 25 प्रतिशत पर लाना स्वागत योग्य कदम है।

पर्यटन क्षेत्र के लिए 50 जगह को चुन कर उनका विकास किया जायेगा तथा हर शहर में युनिटी मॉल का गठन किया जावेगा जहां पर स्थानीय उत्पाद रखें और बेचे जावेगें । 

राधेश्याम अग्रवाल ने कहा- केन्द्र सरकार द्वारा राज्य सरकारों को पुंजीगत खर्चों के लिए 50 सालों तक ब्याज मुक्त ऋण प्रस्तावित करना विकास में योगदान देगा। राज्य सरकारों द्वारा इस ऋण का उपयोग पुराने वाहनों को स्क्रेप करने के लिए शहरों के विकास के लिए स्थानीय निकायों के उपयोग के लिए पुलिस स्टेशन और उनके घरों के लिए, युनिटी मॉल बनाने के लिए, युवा और बुजुर्गों के लिए डिजीटल लाइब्रेरी का गठन करने के लिए और राज्य को पुजीगत खर्च के लिए देना, व्यापार बढ़ोत्तरी के लिए एक अहम कदम है।

चेम्बर के नरिन्दर सिंह पांधे ने कहा- डीजल को जीएसटी के दायरे में लाने की पुरानी मांग को बजट में शामिल नहीं करने से देश भर का ट्रांसपोर्टस भारी निराश है, 28 प्रतिशत पर डीजल को जीएसटी में लाते तो 30 से 35 रुपया डीजल सस्ता होता जिससे आम आदमी को महंगाई से राहत मिलती स्क्रेप नीति में भी परिवर्तन की मांग ट्रांसपोर्टस की है व टोल नीति में भी देश के ट्रांसपोर्टस परिवर्तन चाहते हैं, जिसे बजट में कोई स्थान नहीं दिया गया।

इस अवसर पर चेम्बर अध्यक्ष प्रेम दुबे, कमल ग्रोवर पंकज माहेश्वरी, राधेश्याम अग्रवाल, नरिन्दर सिंह पांधे, हिमांशु खरे, अजय बख्तावर, अनिल अग्रवाल (सीए) अभिषेक ध्यानी, दीपक सेठी, मदन मोहन नेमा, वीरेन्द्र केशरवानी, शशिकांत पांडेय, उमेश ग्रावकर आदि उपस्थित थे।

 

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