फफूँद लगे भोजन की जाँच रिपोर्ट पेश करे आरपीएफ - रेलवे कोर्ट ने शिकायत पर लिया संज्ञान

फफूँद लगे भोजन की जाँच रिपोर्ट पेश करे आरपीएफ - रेलवे कोर्ट ने शिकायत पर लिया संज्ञान

Bhaskar Hindi
Update: 2020-06-13 09:36 GMT
फफूँद लगे भोजन की जाँच रिपोर्ट पेश करे आरपीएफ - रेलवे कोर्ट ने शिकायत पर लिया संज्ञान

डिजिटल डेस्क जबलपुर । मुंबई से पटना जा रही श्रमिक एक्सप्रेस के यात्रियों को जबलपुर रेलवे स्टेशन पर 29 मई को फफूँद लगे थेपले के पैकेट्स के वितरण मामले में रेलवे न्यायालय के स्पेशल मजिस्ट्रेट प्रकाश कुमार उइके ने आरपीएफ को जाँच कर एक महीने के भीतर  रिपोर्ट करने के आदेश दिए हैं। श्रमिक ट्रेन के यात्रियों को फफूँद लगा भोजन वितरित करने की तथ्यात्मक और निष्पक्ष जाँच करने के लिए एडवोकेट राजेश कोरी ने रेलवे कोर्ट में परिवाद पेश किया था, जिस पर संज्ञान लेते हुए रेलवे मजिस्ट्रेट ने आरपीएफ को जाँच के निर्देश दिए हैं। अब आरपीएफ दूषित भोजन का सैम्पल लेने वाले मुख्य स्वास्थ्य निरीक्षक, कैटरर और मौके पर मौजूद रेलवे स्टाफ से पूछताछ करने के बाद रिपोर्ट तैयार कर रेलवे कोर्ट में प्रस्तुत करेगी। गौरतलब है िक रेलवे के अधिकारियों की मौजूदगी में श्रमिक ट्रेन के यात्रियों को रेलवे के कैटरर मो. इब्राहिम एंड संस द्वारा फफूँद लगे थेपले के पैकेट्स वितरित किए थे, जो सडऩे के बाद हरे हो गए थे। बदबू मारते खाने के पैकेट्स को लेकर यात्रियों ने हंगामा मचा दिया था। उसके बाद फफूँद लगे भोजन के सैम्पल को लेकर जीआरपी थाना प्रभारी मनजीत सिंह और मुख्य स्वास्थ्य निरीक्षक नीलकमल के बीच बहसबाजी हो गई थी, जिसमें नीलकमल ने बासे खाने के पैकेट के सैम्पल लेने की बजाय दूसरे खाने के पैकेट के सैम्पल लेने की कोशिश की थी। जीआरपी ने फफूँद लगे भोजन के पैकेट्स को जब्त कर प्रकरण पंजीबद्ध कर लिया था। इस मामले की जानकारी मिलने पर आईआरसीटीसी ने रेलवे के कैटरर मो. इब्राहिम एंड संस के श्रमिक ट्रेनों में भोजन वितरण के ठेके पर रोक लगा दी थी। दूषित भोजन मामले में प्रकरण दर्ज करने के बाद जीआरपी द्वारा भी जाँच की जा रही है, जिसमें रेलवे के अधिकारियों से पत्राचार किया जा रहा है।
 

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