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Jabalpur News: भौतिक सत्यापन कराए बिना मिलर्स को दे दी क्लीन चिट, नान में चावल भी जमा करवा दिए
- धान घोटाले में खाद्य आपूर्ति विभाग के अधिकारियों की भूमिका भी संदिग्ध
- सूत्रों का यह भी कहना है कि खाद्य विभाग द्वारा तैयार की गई रिपोर्ट सीधे शासन को भेज दी गई।
- आनन-फानन में हजारों क्विंटल चावल भी नागरिक आपूर्ति निगम में जमा करा लिए गए।
Jabalpur News: करोड़ों रुपए के धान घोटाला में मिलर्स के साथ खाद्य अधिकारियों की मिलीभगत भी सामने आ रही है, जिसमें खाद्य आपूर्ति अधिकारियों की भूमिका संदिग्ध है। जहां मिलर्स द्वारा धान परिवहन से लेकर उसकी मिलिंग में भी हेराफेरी किए जाने की बात कही जा रही है, वहीं सबसे बड़ी अनियमितता तो यह सामने आई है कि खाद्य विभाग के अधिकारियों ने बिना भौतिक सत्यापन कराए ही मिलर्स को क्लीन चिट दे दी।
इतना ही नहीं, इन मिलर्स से नान में हजारों क्विंटल चावल तक जमा कराया गया है, जिसकी सप्लाई कुछ स्थानों में की गई। टीकमगढ़ में घटिया चावल मिलने का मामला भी इससे जुड़ा हो सकता है। इस पूरे प्रकरण में खाद्य विभाग के अधिकारियों द्वारा शासन के आदेश की खुली धज्जियां उड़ाई गई हैं।
जानकारों का कहना है कि खाद्य आपूर्ति अधिकारी द्वारा बरती गई अनियमितताओं की जानकारी जिला प्रशासन द्वारा शासन को भेज दी गई है। इस संबंध में जिला खाद्य आपूर्ति अधिकारी नुजहत बानो से संपर्क करने का प्रयास किया मगर संपर्क नहीं हो सका है।
ये थे आदेश
सूत्र बताते हैं कि टीकमगढ़ जिले में जो चावल सप्लाई किया गया था, उसे मानव खाने योग्य नहीं पाया गया था। इसकी शिकायत होने के बाद शासन द्वारा सभी जिलों के खाद्य अधिकारियों को पत्र लिखकर पूरे मामले की जांच करने कहा गया था। इसमें भौतिक सत्यापन कराए जाने, किस वाहन से उठाव किया गया व अन्य बिंदु शामिल थे, मगर जिला खाद्य अधिकारी व उनकी टीम द्वारा बिना भौतिक सत्यापन और वाहनों की जांच किए ही सब कुछ सही पाए जाने की रिपोर्ट तैयार कर शासन को भेजकर मिलर्स को भी क्लीन चिट दे दी। इसके बाद आनन-फानन में हजारों क्विंटल चावल भी नागरिक आपूर्ति निगम में जमा करा लिए गए।
कलेक्टर के संज्ञान में लाए बिना भेज दी रिपोर्ट
सूत्रों का यह भी कहना है कि खाद्य विभाग द्वारा तैयार की गई रिपोर्ट सीधे शासन को भेज दी गई। इस रिपोर्ट को न तो कलेक्टर की जानकारी में लाया गया और न ही उनसे आदेश ही प्राप्त किया गया है। इसके बाद गड़बड़ी की संभावनाओं के चलते जिला प्रशासन की टीम द्वार जांच की गई। जिसमें बड़े पैमाने में गड़बड़ी सामने आई है। यहां तक की मिलर्स के साथ ही खाद्य विभाग के अधिकारियों की भूमिका भी संदिग्ध बनी हुई है।
एसडीएम की टीम द्वारा की जा रही जांच की रिपोर्ट आने से पहले ही जिला खाद्य आपूर्ति विभाग ने सब कुछ ठीक होने की रिपोर्ट शासन को भेज दी थी। इस बात से शासन को अवगत कराया गया है।
- दीपक सक्सेना, कलेक्टर
Created On :   14 July 2025 6:42 PM IST