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परीक्षा को लेकर जल्दबाजी नहीं करेंगे विश्वविद्यालय
डिजिटल डेस्क, नागपुर। कोरोना संक्रमण के कारण देशभर में जारी लॉकडाउन के कारण नागपुर सहित प्रदेश के सभी विश्वविद्यालयों की परीक्षा स्थगित हैं। दोबारा परीक्षा के आयोजन को लेकर विश्वविद्यालय किसी प्रकार की जल्दी में नहीं है। 15 अप्रैल को यदि लॉकडाउन खुलता भी है तो अगले कई दिनों तक परीक्षा नहीं होंगी। विश्वविद्यालयों के अनुसार स्थिति सामान्य होने के बाद भी परीक्षा आयोजित करने की जल्दबाजी नहीं की जाएगी। क्योंकि इससे समस्या बढ़ सकती है। परीक्षा से जुड़े स्टाॅफ, विद्यार्थियों को घरों से निकलने में, यात्रा करने में और शिक्षा संस्थाओं के नियमित कामकाज करने में वक्त लगेगा। वहीं लॉकडाउन के कारण लोगों की आर्थिक स्थिति बहुत अच्छी नहीं है। इसी तरह परीक्षा देने के लिए विद्यार्थियों का मानसिक रूप से तैयार रहना जरूरी है। विश्वविद्यालयों को नहीं लगता कि अभी परीक्षा के लिए तैयार हैं। मंगलवार को राज्यपाल भगतसिंह कोश्यारी ने प्रदेश के सभी विश्वविद्यालय के कुलगुरुओं से वीडियो कांफ्रेंसिंग कर बैठक ली, जिसमें यह निष्कर्ष निकला। शिक्षामंत्री के निर्देश के अनुसार गठित समिति इस मामले पर गौर करेगी। संभव है कि परीक्षा के पैटर्न में बदलाव हो। हमने राष्ट्रसंत तुकड़ोजी महाराज नागपुर विश्वविद्यालय और कवि कुलगुरु कालिदास संस्कृत विश्वविद्यालय के कुलगुरुओं से बात करके उनकी स्ट्रैटेजी जानी।
परीक्षा पैटर्न में विद्यार्थियों के लिए राहत : संस्कृत विश्वविद्यालय
कवि कुलगुरु कालिदास संस्कृत विश्वविद्यालय के कुलगुरु डॉ. श्रीनिवास वरखेडी के अनुसार 15 मई तक परीक्षा किसी हाल में नहीं ली जाएगी। 15 मई के बाद कोरोना संक्रमण की जो स्थिति होगी उसे देखते हुए फैसले लिए जाएंगे। यदि स्थिति पूरी तरह नियंत्रण में भी हो तो संबंधित क्षेत्र के अनुसार परीक्षाओं का विभाजन किया जाएगा। जब भी परीक्षाएं होगी उनके पैटर्न में बदलाव किया जाएगा। क्षेत्र में संक्रमण की स्थिति देखते हुए परीक्षा का प्रारूप तय होगा। संभव है कि नए प्रारूप में विद्यार्थियों को राहत देने वाले कुछ फैसले संभावित है। रिजल्ट और अगले शैक्षणिक सत्र की प्रवेश प्रक्रिया में देर पर प्रश्न पूछने पर उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण एक वैश्विक संकट है। ऐसे में विद्यार्थियों की सुरक्षा जरूरी है। सरकार की ओर से निर्देश है कि विद्यार्थियों के भविष्य को देखते हुए निर्णय लेने है। नए अकॅडमिक कैलेंडर में भी जरुरी बदलाव किए जाएंगे।
वैकेशन पीरियड छोटा कर सकते हैं
राष्ट्रसंत तुकड़ोजी महाराज नागपुर विश्वविद्यालय के कुलगुरु डॉ. सिद्धार्थविनायक काणे ने भी साफ किया कि 15 मई तक कोई परीक्षा नहीं होगी। इसके बाद की स्थिति पर परीक्षाएं निर्भर करेंगी। हम प्लाॅन ए, प्लाॅन बी, प्लाॅन सी ऐसे तीन प्लान तैयार कर रहे हैं। दो-तीन दिन में प्लाॅन तैयार हो जाएंगे, जिसे सरकार को भेजा जाएगा। सरकार द्वारा गठित समिति इस पर विचार करेगी। यह निर्णय लेगी कि परीक्षा कब आयोजित करनी है। विलंब के कारण रिजल्ट और अगले सत्र की प्रवेश प्रक्रिया पर जो प्रभाव पड़ेगा उसकी भरपाई अगले एकेडमिक वर्ष में पूरी करने का प्रयास रहेगा। सेमिस्टर पैटर्न छोटा नहीं होगा। हां, वेकेशन पीरियड को जरूर छोटा कर सकते हैं। यह सारा कुछ सरकार के निर्देश पर निर्भर रहेगा।
Created On : 8 April 2020 10:16 AM