महिलाओं के हुनर और काबिलियत को नई पहचान देने की नई राह

New way to give new identity to womens skills and abilities
महिलाओं के हुनर और काबिलियत को नई पहचान देने की नई राह
नागपुर महिलाओं के हुनर और काबिलियत को नई पहचान देने की नई राह

डिजिटल डेस्क, नागपुर. सम्मान की हकदार नारी शक्ति के साहस और जज्बे को सलाम पेश करने के लिए समाचार जगत की अनूठी पहल के रूप में दैनिक भास्कर वुमन अवार्ड का आयोजन किया जाता रहा है। कोरोना त्रासदी की वजह से इस अवार्ड का इंतजार पिछले 2 साल से कर रहीं महिलाओं का इंतजार अब खत्म हुआ। जल्द ही दैनिक भास्कर वुमन अवार्ड की घोषणा होने जा रही है। समाज का पथप्रदर्शन करने वाली प्रतिष्ठित महिलाओं को सम्मान का हक दिलाने व सामाजिक जिम्मेदारी का निर्वहन करने के लिए प्रेरित करने के उद्देश्य से दिए जाने वाले अवार्ड के लिए चयन प्रक्रिया आरंभ हो गई है। इस प्रक्रिया में पारदर्शिता ही अवार्ड की विशेषता है। अवार्ड की हकदार प्रतिभागियों को समाज से रूबरू कराकर महिलाआें के पथ प्रदर्शन का यह अनूठा प्रयास है। उन महिलाओं को अवार्ड के लिए नामांकन प्रक्रिया में शामिल होने के लिए आमंत्रित किया जा रहा है जिनकी प्रतिभा से समाज आलोकित हो रहा है या उनके प्रयासों से किसी के जीवन में बदलाव आया है। अवार्ड की 9 श्रेणियों के तहत महिलाओं को सम्मानित किया जाएगा। इनमे स्मॉल स्केल बिजनेस, एंटरप्रेन्योर, एड्युकेशन, स्पोर्ट्स, ब्रेव वुमन, आर्ट एंड कल्चरल, परफार्मिंग आर्ट, लिटरेचर, सोशल वर्कर, बेस्ट महिला मंडल अवार्ड का समावेश है। 

कार्यक्षमता में वृद्धि हुई, दायरा बढ़ा

किरण मुंदड़ा, तेजस्विनी महिला मंडल के मुताबिक बेस्ट महिला मंडल का दैनिक भास्कर वुमन अवार्ड प्राप्त करने के बाद तेजस्विनी महिला मंच के कार्यों में तेजी आई, कार्यक्षमता में वृद्धि हुई और संपर्क का दायरा भी बढ़ गया। मंच के कार्यों का यह शुरुआती दौर था। अवार्ड मिलने पर मंच की सभी महिलाओं का उत्साहवर्धन हुआ। 

समाजसेवा की प्रेरणा मिली

केतकी अर्बट के मुताबिक दैनिक भास्कर वुमन अवार्ड समाजसेवा की प्रेरणा के लिए प्रोत्साहित करने वाली साबित हुआ। अवार्ड मिलने के बाद हम और अधिक उत्साह से सेवाकार्य में प्रवृत्त हुए। इसके लिए दैनिक भास्कर समूह का धन्यवाद। हमने महिलाओं को स्वावलंबी बनाने के लिए कई उपक्रम शुुरू किए हैं। 

गुडविल बनी

शोभा लोया, अध्यक्ष ‘ताना- बाना’ के मुताबिक स्मॉल बिजनेस वर्ग का अवार्ड प्राप्त करने के बाद ताना-बाना से कई महिलाएं जुड़ने लगीं। घर से व्यापार करने वाली महिलाओं के लिए यह एक बेहतरीन प्लेटफार्म साबित हुआ है। दैनिक भास्कर ने ताना-बाना को घरेलू महिलाओं के जीवन का हिस्सा बना दिया। हमारी गुडविल बन गई है। 


विदेशों में पहचान मिली

जया गुप्ता, परफार्मिंग आर्ट के मुताबिक दैनिक भास्कर वुमन अवार्ड का मिलना मेरी शख्सियत को पहचान मिलने जैसा है। आज हमारी पेंटिंग विदेशों में भी सेल होने लगी है। दैनिक भास्कर समूह का धन्यवाद। दैनिक भास्कर वुमन अवार्ड की वजह से ही विदेशों में अपनी छाप छोड़ने में कामयाब रही। 


 

Created On :   9 April 2023 6:36 PM IST

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