मरने के बाद आत्माओं को लेकर सबसे पहले यहां आते हैं यमराज

yamraj temple in  Himachal Pradesh
मरने के बाद आत्माओं को लेकर सबसे पहले यहां आते हैं यमराज
मरने के बाद आत्माओं को लेकर सबसे पहले यहां आते हैं यमराज

डिजिटल डेस्क, भरमौर। आपने यमराज और आत्माओं के विषय में अने कहानियां सुनीं होंगी, लेकिन क्या आपको पता है कि धरती पर एक ऐसा भी मंदिर है जहां यमराज मृत आत्माओं को शरीर से निकालने के बाद सबसे पहले लेकर जाते हैं...

देवभूमि हिमाचल प्रदेश के चंबा जिले के भारमौर में यमराज का एक मंदिर स्थित है। इस मंदिर को यमराज की कचहरी के नाम से भी जाना जाता है। इसे लेकर मान्यता है कि यमराज मरने के पश्चात सर्वप्रथम आत्माओं को यहीं लेकर आते हैं। यह मंदिर रहस्यों से भरा पड़ा है।

मंदिर के अंदर एक खाली कमरा हैए जिसे यमराज के सचिव चित्रगुप्त का कमरा कहा जाता है। कहा जाता है कि आत्माओं को लाने के बाद यहां यमराज का दरबार लगता है और उनको उनके कर्मो के अनुसार फैसला सुनाया जाता है। आत्माओं को उनके कर्मों के हिसाब से नर्क या स्वर्ग में भेजा जाता है। 

4 अदृश्य द्वार
कहा जाता है कि मंदिर में चारों दिशाओं में चार अदृश्य द्वार हैं। यमदूत लोगों की आत्मा को उनके कर्मों के अनुसार भिन्न.भिन्न द्वार से लेकर जाते हैं। गरुड़ पुराण में भी यमराज के दरबार में मौजूद इस प्रकार के चार द्वारों का वर्णन किया गया है। चारों द्वार सोनेए चांदीए लोहे और तांबे से निर्मित हैं।

गरुड़ पुराण 
गरुड़ पुराण के मुताबिक महात्मा लोग सोनेए चांदी के द्वार से जाते हैं। सामान्य कर्म करने वाले तांबे के द्वार से जाते हैं। यमराज पाप करने वालों की आत्मा को लोहे के द्वार से लेकर जाते हैंए जो नर्क की ओर जाता है। मंदिर से जुड़े रहस्यों की वजह से लोग अंदर जाने की हिम्मत नहीं जुटा पाते। 

Created On :   29 July 2017 3:47 AM GMT

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