Fake News: क्या पत्थरबाजी के कारण पुलिस ने सरेआम युवकों को पीटा?

Old video from indore share with claim people are being beaten by police are stone pelter
Fake News: क्या पत्थरबाजी के कारण पुलिस ने सरेआम युवकों को पीटा?
Fake News: क्या पत्थरबाजी के कारण पुलिस ने सरेआम युवकों को पीटा?

डिजिटल डेस्क। सोशल मीडिया पर एक वीडियो काफी वायरल हो रहा है। वीडियो में पुलिसकर्मी कुछ युवकों को डंडे से पीटते हुए नजर आ रहे हैं। दावा किया जा रहा है कि सीएए और एनआरसी के खिलाफ पत्थरबाजी करने पुलिस ने युवकों को सबक सिखाया है। 

वीडियो फेसबुक पर Vikash Dhaka Hindu ने शेयर किया है। पोस्ट में कैप्शन है, "जो लोग यह बोल रहे थे यह तो अभी शुरुवात है, पत्थरबाजी कि उनके लिए स्पेशल अंजाम ए पत्थरबाजी कुछ ऐसा होगा।" इस वीडियो को 9 हजार लोग कमेंट, 36 हजार से अधिक लोग शेयर कर चुके हैं। वीडियो देखने के लिए यहां क्लिक करें। 

                                                       

क्या है सच?

भास्कर हिंदी टीम ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल वीडियो साल 2015 का है। वीडियो में दिख रहे शख्स पत्थरबाज नहीं है। दरअसल वायरल वीडियो मध्यप्रदेश के इंदौर शहर का है। जहां पुलिस ने गुंडों और बदमाशों को सरेआम पीटने का ऑपरेशन शुरू किया था। पड़ताल में हमें वीडियो में एक जगह श्री महेश्वरी उ.मा. विद्यालय लिखा दिखा।

                                      

इसके बाद पड़ताल में भास्कर हिंदी टीम को ABP न्यूज पर यह वीडियो मिला। वीडियो के मुताबिक इंदौर पुलिस ने अपराध पर लगाम लगाने के लिए कार्रवाई की थी। 15 थानों के अपराधियों का पुलिस ने जुलूस निकाला था। 

                                

यह साफ है कि वीडियो में दिख रहे युवत पत्थरबाज नहीं है। युवक बदमाश है और इंदौर पुलिस ने सबक सिखाने के लिए सरेआम पीटा है। यह वीडियो साल 2015 का है।

Created On :   2 Jan 2020 8:17 AM GMT

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