सर्दी में एलर्जी से बचने लिए अच्छी आदतों की करें शुरूआत
डिजिटल डेस्क,भोपाल। सर्दियों में कई तरह की बिमारियों होने का खतरा रहता है। सर्दी-जुकाम और बुखार तो आम हैं। तेज ठंड और धूप की कमी से ये बच्चों से लेकर बड़ों तक बड़ी आसानी से पकड़ लेता है। इनके अलावा और भी कई गंभीर संक्रमण हैं जो बच्चों और बुढ़ो को ज्यादा तेजी से अपने कब्जे में लेते है। ठंड के कारण शरीर का नीला पड़ना, उच्च रक्तचाप, मधुमेह के स्तर में गड़बड़ी, धड़कन तेज होना, सांस लेने में दिक्कत और कई बार शरीर के तापमान में उतार-चढ़ाव जैसी परेशानियां होने लगती हैं। ये सभी मौसम में बढ़ती ठंड से होते हैं।
जिनसे बचने के लिए डॉक्टर के साथ-साथ सही घरेलू इलाज भी जरूरी होता है। कुछ अच्छी आदतें भी आपको इन बिमारियों से बचने में मदद करेगी और कई एलर्जी से बचाएगी, तो आइए जान लेते हैं कि वो कौनसी आदते हैं जिनसे आप सर्दियों को बिना बिमार पड़े एंजॉए कर सकते हैं।
सफाई
किसी भी तरह के एलर्जी से बचने के लिए साफ-सफाई रखना बेहद जरूरी है। चाहे ठंड का मौसम हो , गर्मियां हो या बारिश हर मौसम में अलग-अलग तरह की एलर्जी होती हैं और किसी भी एलर्जी से बचने के लिए सफाई रखना सबसे पहला नियम है। धूल कणों और सूक्ष्म रोगाणुओं से बचाव के लिए घर के अंदर हवा के प्रवाह में सुधार लाएं और रसोईघर, गुसलखाने और कमरों को साफ-सुथरा रखें। घर और कालीन की नियमित रूप से सफाई करें। एलर्जी से पीड़ित लोग खुद को धूल और गंदगी से दूर रखें।
हर्बल वस्तुएं
खांसी-जुकाम और बुखार जैसी समस्या हो तो अदरक, तुलसी, हल्दी और काली मिर्च जैसी घरेलू चीजों से बना काढ़ा पी सकते हैं। पानी भी गुनगुना करके पीना चाहिए।
धूप में टहलें
अस्थमा या सांस संबंधी रोग से पीड़ित हैं तो सुबह की बजाय हल्की धूप निकलने पर ही टहलने जाएं। सुबह की सर्द हवा सांस की नली में दिक्कत बढ़ा सकती है, जिससे हृदय रोगियों की परेशानी बढ़ सकती है। सुबह 8 से 10 बजे के बीच धूप लेने से विटमिन-डी की पूर्ति होती है।
मौसमी फल और सब्जियां खाएं
शरीर में ऊर्जा बढ़ाने व रोग प्रतिरोधक क्षमता बरकरार रखने के लिए मौसमी फल जैसे- संतरा, अमरूद, पपीता, चीकू और सब्जियां जैसे- पालक, चुकंदर, आंवला, गाजर खाएं। सब्जियों का सूप पीएं।
एलर्जी का पता लगाएं
घर में धूल व गंदगी से कालीन और बिस्तर पर सूक्ष्म रोगाणु पनपने लगते हैं जो एलर्जी का कारण बनते हैं। एलर्जी के कारण की पहचान के लिए खून की जांच होती है जिसे कॉम्प्रिहेन्सिव एलर्जी टेस्ट कहते हैं। एक बार एलर्जी का कारण पता चल जाए तो इलाज में आसानी होती है।
Created On :   7 Dec 2017 7:52 AM IST