World Stroke Day 2025: दिल और दिमाग- एक ही सिस्टम के दो अहम हिस्से, दोनों का ख्याल रखना है जरूरी

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। हर साल 29 अक्टूबर को World Stroke Day मनाया जाता है ताकि लोगों को स्ट्रोक के खतरे और उसकी रोकथाम के बारे में जागरूक किया जा सके। मेडिकल एक्सपर्ट्स का कहना है कि दिल और दिमाग दोनों एक ही सिस्टम के हिस्से हैं, और अगर दिल पर असर पड़ता है, तो दिमाग भी प्रभावित हो सकता है।
डॉ. कुशल हजेला, कंसल्टेंट कार्डियक एनेस्थीसियोलॉजिस्ट, बताते हैं, “हार्ट और ब्रेन एक ही रास्ते से जुड़े हैं। दिल खून पंप करता है और दिमाग उसी खून से ऑक्सीजन लेता है। अगर दिल में कोई दिक्कत होती है, जैसे ब्लॉकेज या रिद्म की समस्या, तो इसका सीधा असर दिमाग तक खून के बहाव पर पड़ सकता है।”
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दिल और दिमाग – एक जैसे खतरे
डॉ. हजेला के अनुसार, हार्ट डिजीज और स्ट्रोक दोनों के रिस्क फैक्टर लगभग समान हैं। इनमें हाई ब्लड प्रेशर, हाई कोलेस्ट्रॉल, डायबिटीज, स्मोकिंग, शराब का सेवन, मोटापा, एक्सरसाइज की कमी, तनाव और खराब नींद प्रमुख कारण हैं।
वे कहते हैं, “अगर इन फैक्टर्स को कंट्रोल किया जाए, तो दिल और दिमाग दोनों को लम्बे समय तक स्वस्थ रखा जा सकता है।”
हार्ट की बीमारी से स्ट्रोक का खतरा कैसे बढ़ता है
दिल की कुछ बीमारियां सीधा स्ट्रोक का कारण बन सकती हैं।
• Atrial Fibrillation (AF): जब दिल की धड़कन अनियमित होती है, तो खून के थक्के बन सकते हैं, जो दिमाग तक पहुंचकर स्ट्रोक का कारण बनते हैं।
• हार्ट अटैक के बाद: दिल कमजोर पड़ जाता है और खून के थक्के बनने की संभावना बढ़ जाती है।
• Atherosclerosis: जो ब्लॉकेज दिल की नसों में बनती है, वही ब्लॉकेज दिमाग की नसों में भी रुकावट पैदा कर सकती है।
पहचानें खतरे के संकेत
स्ट्रोक के लक्षण याद रखने का आसान फॉर्मूला — FAST Formula:
• F – Face drooping (चेहरा टेढ़ा होना)
• A – Arm weakness (हाथ में कमजोरी)
• S – Speech difficulty (बोलने में परेशानी)
• T – Time to call emergency (इमरजेंसी मानने का वक्त)
वहीं हार्ट अटैक के संकेतों में सीने में दर्द या दबाव, सांस फूलना, पसीना, मतली और दर्द का हाथ, जबड़े या पीठ तक फैलना शामिल हैं।
डॉ. हजेला चेतावनी देते हैं, “स्ट्रोक और हार्ट अटैक दोनों में समय बहुत कीमती होता है। देर करने का मतलब है दिमाग या दिल की स्थायी क्षति।”
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बचाव ही सबसे अच्छा इलाज
• ब्लड प्रेशर और शुगर की नियमित जांच करें
• नमक, तेल और चीनी की मात्रा कम रखें
• रोज 30 मिनट ब्रिस्क वॉक करें
• स्मोकिंग और शराब से दूरी बनाएं
• साल में एक बार पूरा हेल्थ चेकअप जरूर कराएं
डॉ. हजेला कहते हैं, “दिल और दिमाग दोनों को स्वस्थ रखना मुश्किल नहीं है, बस थोड़ी जागरूकता और नियमित हेल्थ केयर की जरूरत है।”
डिसक्लेमरः इस आलेख में दी गई जानकारी अलग- अलग किताब और अध्ययन के आधार पर दी गई है। bhaskarhindi.com यह दावा नहीं करता कि ये जानकारी पूरी तरह सही है। पूरी और सही जानकारी के लिए संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञ (ज्योतिष/वास्तुशास्त्री/ अन्य एक्सपर्ट) की सलाह जरूर लें।
Created On :   29 Oct 2025 5:16 PM IST












