इसरो का XPoSat मिशन: नए साल पर इसरो के XPoSat मिशन की सफल लॉन्चिंग, ब्लैक होल और न्यूट्रॉन स्टार्स की करेगा स्टडी

  • नए साल पर इसरो ने लॉन्च किया XPoSat मिशन
  • ब्लैक होल और न्यूट्रॉन स्टार्स की करेगा स्टडी

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। इंडियन स्पेस रिसर्च ऑर्गेनाइजेशन ने पिछले साल अंतरिक्ष में सफलता की नई बुलंदियों को हासिल किया था। पिछले साल इसरो ने चंद्रयान 3 मिशन के जरिए चांद के अंधेरे हिस्से को उजागर करने के बाद आदित्य एल-1 मिशन के जरिए सूर्य तक सफर की शुरुआत की थी। अब इस नए साल में इसरो ने स्पेस सेक्टर में अपना पहला कदम बढ़ाया है। साल के पहले दिन आज सुबह 9 बजकर 10 मिनट पर इसरो ने एक्स-रे पोलारिमीटर सैटेलाइट यानि XPoSat को श्रीहरिकोटा के सतीश धवन स्पेस सेंटर से लॉन्च किया गया। लॉन्चिंग के 21 मिनट बाद इस सैटेलाइट को पृथ्वी की निचली कक्षा में स्थापित किया गया।

ऐसा करने वाला दूसरा देश बना भारत

साल के पहले ही दिन इसरो ने इस स्पेस मिशन की सफल लॉन्चिंग की। इसके साथ ही भारत ब्लैक होल और न्यूट्रॉन स्टार्स की स्टडी के लिए स्पेशलाइज्ड एस्ट्रोनॉमी ऑब्जर्वेट्री को स्पेस में भेजने वाला दूसरा देश बन गया। इसरो से पहले साल 2021 में नासा ने इमेजिंग एक्स-रे पोलरिमेट्री एक्सप्लोरर (IXPE) के जरिए पहला पोलरिमेट्री मिशन लॉन्च किया था। एक्सपोसैट के माध्यम से इसरो अंतरिक्ष में ब्लैक होल और न्यूट्रॉन स्टार्स के बारे में और अधिक जानकारियां जुटाएगा।

पृथ्वी के निचली कक्षा में होगा स्थापित

इसरो का एक्सपोसैट सैटेलाइट पोलर सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल के जरिए लॉन्च किया गया है। और इसके पीएसएलवी रॉकेट के जरिए स्पेस में भेजा गया है। यह सैटेलाइट स्पेस में पृथ्वी के सबसे निचले कक्ष में स्थापित होगा। यह पृथ्वी से 650 किमी दूर है। नासा के इमेजिंग एक्स-रे पोलेरिमीटरी एक्सप्लोरर मिशन की तरह इसरो भी अपने पोलरिमेट्री मिशन के तहत लंबे समय तक ब्लैक होल समेत स्पेस में मौजूद अन्य चीजों की स्टडी करेगा।

Created On :   1 Jan 2024 4:07 AM GMT

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