जगन्नाथ पुरी में हिंसा: पथराव और तोड़फोड़ के बाद पुलिस का लाठीचार्ज, पढ़िए क्यों नाराज हैं लोग

atleast 30 people including three media personnel were injured during puri protest violence
जगन्नाथ पुरी में हिंसा: पथराव और तोड़फोड़ के बाद पुलिस का लाठीचार्ज, पढ़िए क्यों नाराज हैं लोग
जगन्नाथ पुरी में हिंसा: पथराव और तोड़फोड़ के बाद पुलिस का लाठीचार्ज, पढ़िए क्यों नाराज हैं लोग
हाईलाइट
  • ओडिशा के पुरी में भड़की हिंसा में नौ पुलिसकर्मी और तीन मीडिया कर्मी समेत करीब 30 लोग घायल हो गए।
  • बंद में शामिल लोग मंदिर में दर्शन के लिए लाइन लगाने पे सिस्टम का विरोध कर रहे थे।
  • यह बंद श्री जगन्नाथ सेना द्वारा किया गया था।

डिजिटल डेस्क, पुरी। ओडिशा के पुरी में बुधवार को एक संगठन द्वारा किए गए 12 घंटे के बंद के दौरान भड़की हिंसा में नौ पुलिसकर्मी और तीन मीडिया कर्मी समेत करीब 30 लोग घायल हो गए। यह बंद श्री जगन्नाथ सेना द्वारा किया गया था। बंद में शामिल लोग मंदिर में दर्शन के लिए लाइन लगाने के सिस्टम का विरोध कर रहे थे। पथराव के बाद पुरी में कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए इलाके में धारा 144 लगा दी गई है।

पुलिस ने क्या कहा
एसपी पुलिस अधीक्षक सार्थक षाड़ंगी ने कहा कि वह तो केवल सुप्रीम कोर्ट का ऑर्डर फॉलो कर रहे थे। हालांकि श्री जगन्नाथ सेना ने बात नहीं मानी और बंद में बुलाए गए लोगों की भीड़ जबरन मंदिर में घुसने लगी। षाड़ंगी ने बताया कि भीड़ ने इस दौरान सिंहद्वार के नजदीक लगे बैरिकेड को भी धक्का मारकर हटा दिया। इतना ही नहीं प्रदर्शनकारियों ने जगन्नाथ मंदिर ट्रस्ट ऑफिस के कार्यालय में भी तोड़फोड़ की। प्रदर्शनकारियों ने टायर जलाकर सड़कें जाम कर दीं और पुरी के SSP के घर पर भी पत्थरबाजी की। हिंसात्मक प्रदर्शन से जिला प्रशासन को काफी नुकसान हुआ है। वहीं तोड़फोड़ से मंदिर ट्रस्ट को भी भारी नुकसान उठाना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि पुलिस ने यह लाठी चार्ज केवल हिंसा को रोकने के लिए किया। इस प्रदर्शन को बीजेपी और कांग्रेस का भी समर्थन प्राप्त था।

प्रदर्शनकारियों की मांग
प्रदर्शनकारियों की मांग है कि मंदिर में लाइन लगाकर दर्शन करने की व्यवस्था को बंद किया जाना चाहिए। हाल ही में प्रशासन ने श्रीमंदिर परिसर में पिंडदान और श्राद्ध के परंपरा को खत्म करने की मांग की थी, लेकिन प्रदर्शनकारियों ने मांग की है कि इस परंपरा को रहने दिया जाए। इसके अलावा उन्होंने सेवायतों को डोनेशन लेने का अधिकार मिलने का भी समर्थन किया। प्रदर्शनकारियों ने रत्नभंडार की चाबी खोने के मामले की उच्चस्तरीय जांच करने की भी मांग की है। 


 

Created On :   3 Oct 2018 8:00 PM IST

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