खुदाई में मिलेगा महाभारत का लाक्षागृह!

Excavation for the search of the Lakhvaktha of Mahabharata
खुदाई में मिलेगा महाभारत का लाक्षागृह!
खुदाई में मिलेगा महाभारत का लाक्षागृह!

डिजिटल डेस्क,नई दिल्ली। महाभारत में आपने "लाक्षागृह" के बारे सुना होगा। ये वो गृह था जो पांडवो को मारने के लिए कौरवों ने बनवाया था, लेकिन उनका षड़यंत्र कामयाब नहीं हो पाया था। युगों के बाद अब उसी लाक्षागृह को जमीन खोद कर तलाश करने की तैयारी कर ली गई है। दरअसल लाक्षागृह के अभी भी मौजूद होने के सबूत बागपत के बरवाना क्षेत्र में मिलते हैं और यहां के लोगों का मानना है कि लाक्षागृह अब भी है और खोजने पर जरूर मिलेगा। लाक्षागृह के जिस जगह (बरनावा) मौजूद होने की बात कही जा रही है वो इलाका उत्तर प्रदेश के बागपत जिले में है। इसी आधार पर पुरातत्‍वविद (ऑर्किओलॉजिस्ट ) और स्‍थानीय इतिहासकार इस ऐतिहासिक स्‍थल की खुदाई की मांग सालों से करते रहे हैं। 

3 महीनों तक चलेगा खुदाई का काम

लोगों के विश्वास और मांग को देखते हुए भारतीय पुरातत्‍व विभाग (ASI) ने इस ऐतिहासिक स्‍थल की खुदाई की इजाजत देदी है। ASI अधिकारियों के मुताबिक दिसंबर के पहले सप्‍ताह में स्‍थल की खुदाई का काम शुरू होगा और अगले 3 महीनों तक चलेगा। पुरातत्‍व विभाग के साथ इंस्‍टीट्यूट ऑफ आर्कियोलॉजी के छात्र भी खुदाई में मदद करेंगे। उल्‍लेखनीय है कि ये जगह ऐतिहासिक चंदयान और सिनौली स्‍थल के पास है। 2005 में सिनौली की खुदाई से हड़प्‍पा काल के शवदाह स्‍थल का पता चला था। वहां से अस्थियां और बड़ी मात्रा में बर्तन मिले थे।ठीक इसी तरह 2014 में चंदयान गांव से तांबे का एक क्राउन मिला था।

क्या है लाक्षागृह का सच?

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महाभारत के मुताबिक लाक्षागृह कौरवों ने लाख सोने की मुद्रा से ये महल बनवाया था। उनकी योजना इस महल में पांडवों को जिंदा जलाने की थी, लेकिन पांडव एक सुरंग के जरिए जिंदा बच निकले थे।" महल अब बागपत में स्थित है। इस जगह को अब बरनावा कहा जाता है। दरअसल, बरनावा उन पांच गांवों में से एक वर्णाव्रत का ही परिवर्तित नाम है, जिनकी मांग पांडवों ने कौरवों से की थी।"

Created On :   2 Nov 2017 8:51 AM GMT

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