प्रधानमंत्री राजधर्म का पालन करें, चीनी घुसपैठ के बारे में सच बताएं : कांग्रेस
- प्रधानमंत्री राजधर्म का पालन करें
- चीनी घुसपैठ के बारे में सच बताएं : कांग्रेस
नई दिल्ली, 4 जुलाई (आईएएनएस)। कांग्रेस ने शनिवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को राजधर्म की याद दिलाते हुए कहा कि वह चीनी घुसपैठ के बारे में लोगों को सच बताएं और चीनी सेना को मुहतोड़ जवाब दें तथा उसे वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर अवैध कब्जे से बेदखल कराएं।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कपिल सिब्बल ने वीडियो लिंक के जरिए मीडिया को संबोधित करते हुए भारतीय क्षेत्र में चीनी घुसपैठ को लेकर कई सवाल खड़े किए। उन्होंने लद्दाख के पेंगोंग त्सो से लेकर पिनपॉइंट चीनी ढांचों तक के मई से लेकर जून तक के उपग्रह चित्र दिखाए और प्रधानमंत्री से इस बारे में सच बोलने के लिए कहा।
सिब्बल ने कहा कि तस्वीरें झूठ नहीं बोलतीं। उन्होंने प्रधानमंत्री से कहा कि वह भारतीय क्षेत्र में पेंगोंग त्सो झील इलाके में फिंगर 4 तक ताजा और पहले के चीनी कब्जे के बारे में राष्ट्र को सच बताएं।
सिब्बल ने सवाल किया, क्या यह भारतीय क्षेत्र है, जहां पर चीन ने घुसपैठ कर के रडार, हैलीपैड और अन्य ढाचे बना लिए हैं।
उन्होंने कहा कि भाजपा के पार्षदों सहित लद्दाख के स्थानीय पार्षदों ने हमारी जमीन पर चीनी कब्जे के बारे में प्रधानमंत्री को फरवरी में एक ज्ञापन सौंपा था।
कांग्रेस के नेतृत्व वाली संप्रग सरकार में कई मंत्रालयों को संभाल चुके सिब्बल ने कहा, प्रधानमंत्री ने क्या कार्रवाई की? यदि उन्होंने कार्रवाई की होती तो हम चीनी घुसपैठ को पहले ही रोक लिए होते। समय की मांग है कि भारत चीन को साफ शब्दों में कहे कि वह वापस जाए।
वरिष्ठ वकील सिब्बल ने कहा, मिस्टर प्रधानमंत्री यह राजधर्म है, जिसका पालन आपको हर हाल में करना चाहिए।
सिब्बल ने सवाल किया कि क्या चीन ने गलवान घाटी में पेट्रोल पॉइंट-14 (जहां 20 भारतीय सैनिकों ने शहादत दी थी) और हॉट स्प्रिंग्स सहित भारतीय भूमि पर कब्जा कर रखा है?
उन्होंने कहा, क्या चीन ने देपसैंग प्लेन्स में वाई-जंक्शन तक हमारी भूमि पर कब्जा कर रखा है, जिससे हमारे रणनीतिक डी.बी.ओ. हवाई पट्टी को खतरा पैदा हो गया है, जो कि सियाचित ग्लेशियर और काराकोरम दर्रा के लिए सैन्य आपूर्ति की जीवन रेखा है।
मोदी के शुक्रवार के लेह में निमु के दौरे के बारे में कहा कि पूर्व प्रधानमंत्रियों इंदिरा गांधी और लाल बहादुर शास्त्री ने भी सैनिकों का मनोबल बढ़ाने के लिए अग्रिम स्थलों का दौरा किया था।
उन्होंने कहा, क्या पंडित जवाहर लाल नेहरू ने 1962 में नेफा में अग्रिम स्थलों का दौरा कर सैनिकों का मनोबल नहीं बढ़ाया था? ऐसा लगता है कि हमारे प्रधानमंत्री मोदी निमु में 230 किलोमीटर पहले ही रह गए।
मोदी ने शुक्रवार को लद्दाख का दौरान किया था और चीन का नाम लिए बगैर यह कहते हुए एक स्पष्ट संदेश दिया था कि विस्तारवाद का युग समाप्त हो चुका है।
सशस्त्र बलों को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा था, विस्तारवाद का युग समाप्त हो चुका है। यह विकास का युग है। इतिहास गवाह है कि विस्तारवादी ताकतें या तो समाप्त हो गईं या फिर उन्हें पीछे हटना पड़ा।
Created On :   4 July 2020 9:00 PM IST