ऑपरेशन मासूम: बहुत क्रूर है सुभाष, 19 साल पहले काट दिया था पड़ोसी का गला

Operation Innocent: Subhash is very cruel, had cut throat of neighbor 19 years ago
ऑपरेशन मासूम: बहुत क्रूर है सुभाष, 19 साल पहले काट दिया था पड़ोसी का गला
ऑपरेशन मासूम: बहुत क्रूर है सुभाष, 19 साल पहले काट दिया था पड़ोसी का गला
हाईलाइट
  • अपहरणकर्ता सुभाष ने पड़ोसी की गला काटकर की थी हत्या
  • गांव वालों से था नाराज अपहरणकर्ता सुभाष
  • रुबी कठेरिया से किया था प्रेम विवाह

डिजिटल डेस्क, लखनऊ। लखनऊ से करीब 200 किलोमीटर दूर मोहम्मदाबाद के कथरिया गांव में बेटी के जन्मदिन पर बच्चों को बुलाकर 21 बच्चों को बंधक बनाने की घटना से पूरा प्रशासन हिल गया है और बच्चों को छुड़ाने के लिए कमांडो तक को बुलाना पड़ा है। सुभाष द्वारा बंधक 21 बच्चों को पुलिस देर रात तक लाख प्रयास के बाद मुक्त नहीं करा पाई। वहीं किसी तरह 5 साल के एक बच्चे को सुरक्षित निकालकर उसके माता-पिता को सौंप दिया गया है। बता दें कि सुभाष पर गांव के मेघनाथ की 2001 में हत्या कर करने का आरोप है। उसने अपने पाड़ोसी का गला काट दिया था। हत्या के मामले में वह जमानत पर चल रहा है।

मामले की गंभीरता को देखते हुए डीजीपी ने बच्चों को मुक्त कराने के लिए एनएसजी को जानकारी भेज दी है। लखनऊ से एटीएस और कानपुर से आईजी को मौके पर भेजा है। पुलिस अधीक्षक डॉ. अनिल कुमार मिश्रा का कहना है कि देर रात तक कानपुर जोन के आईजी, लखनऊ से एटीएस आ जाएगी। एनएसजी के भी आने की उम्मीद है।

पड़ोसी की गला काटकर की थी हत्या
सुभाष का वर्ष 2001 में गांव के ही मेघनाथ से नाली से पानी निकासी को लेकर विवाद हुआ था। इसी रंजिश में सुभाष ने मेघनाथ की चाकू से उसी के घर के बाहर गला काटकर हत्या कर दी थी। हत्या के आरोप में पुलिस ने उसे जेल भी भेजा था। ग्रामीणों के मुताबिक करीब डेढ़ साल पूर्व सुभाष जमानत पर  छूट कर आया था।

गांव वालों से था नाराज
बता दें कि करीब आठ महीने पहले मौधा गांव के अमर सिंह राठौर के खेत में रबड़ का पाइप चोरी हो गया था। पुलिस ने जांच की तो सुभाष का नाम सामने आया। पुलिस सुभाष को पूछताछ के लिए थाने लेकर आई। अंधेरा होने पर वह पुलिस को चकमा देकर भाग निकला था। पुलिस ने इसे गंभीरता से नहीं लिया और न सुभाष को पकड़ने का प्रयास किया। इसके बाद करीब चार महीने पहले स्वॉट टीम ने सुभाष को पकड़ा था। दो-तीन दिन तक पूछताछ के बाद छोड़ दिया था। तब से सुभाष स्वॉट टीम के दो सिपाही सचेंद्र सिंह व अनुज तिवारी से नाराज है। यही नहीं तभी से वह मोहल्ले के लोगों से रंजिश मानता है। उसका कहना है कि मोहल्ले के लालू तिवारी ने ही उसे पकड़वाया था। मौके पर कई थानों की फोर्स पहुंच गई।

पुलिस से मंगाई सिगरेट, तो ले लिए बिस्कुट भी
सुभाष कितना क्रूर है। इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि करीब छह घंटे बाद भी बच्चों पर उसे तरस नहीं आया। रात करीब आठ बजे पुलिस से उसने अपने लिए सिगरेट मंगवाई। उसने दरवाजे के नीचे बनी दरार से सिगरेट के साथ बिस्कुट भी ले लिया।

पिता और भाई की हो चुकी मौत
सुभाष दो भाई और एक बहन है। बहन की शादी फर्रुखाबाद शहर के एक मोहल्ले में रहने वाले युवक के साथ तय है। पिता जगदीश बाथम की 2006 में मौत हो चुकी है। छोटे भाई सोविंद उर्फ कल्लू की मौत बीमारी से करीब चार साल पहले मौत हो गई थी।

रुबी कठेरिया से किया था प्रेम विवाह
वर्ष 2001 में गांव के मेघनाथ की हत्या के मामले में जमानत पर छूटने के बाद सुभाष बाथम ने गांव की रुबी कठेरिया से प्रेम विवाह किया था। गुरुवार को घटना के बाद उसकी पुत्री गौरी व पत्नी रुबी भी मकान के अंदर हैं। उसने एक वर्ष पहले अपनी मां को मारपीट कर भगा दिया था। तब से मां कहीं रिश्तेदारी में रहने लगी हैं।

जमीन बेचकर चला रहा परिवार
सुभाष बाथम ने अपनी चार बीघा जमीन बेच डाली है। वह अब धोखाधड़ी कर ही परिवार की गुजर बसर कर रहा है। गांव के लोग उसके सनकीपन के कारण उससे बोलने से भी घबराते हैं। घटना के बाद गांव में सन्नाटा पसरा हुआ है। गांव के लोगों के अलावा पुलिस व प्रशासन के लोग भी अंदर फंसे बच्चों के कारण सुभाष के गेट के सामने जाने की हिम्मत नहीं जुुटा पा रहे हैं।

Created On :   30 Jan 2020 8:04 PM GMT

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