GST का एक साल : पीएम मोदी बोले- क्या दूध और मर्सिडीज पर समान टैक्स लगा सकते हैं?
- कांग्रेस लगातार सरकार पर जीएसटी में एक टैक्स स्लैब न होने को लेकर हमला बोलती रही है।
- पीएम ने लॉजिस्टिक इंडस्ट्री पर जीएसटी के पड़े पॉजिटिव इंपेक्ट के बारे में बताया।
- यह कहना आसान है कि एक ही स्लैब रखा जाए
- लेकिन फिर हम किसी फूड आइटम को जीरो पर्सेंट पर नहीं रख पाएंगे।
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। देश में आज से ठीक एक साल पहले नया टैक्स सिस्टम गुड्स एंड सर्विस टैक्स (जीएसटी) लागू किया गया था। इसके एक साल पूरे होने पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने न्यूज मैगजीन स्वराज्य को दिए इंटरव्यू में कहा कि "यह कहना आसान है कि एक ही स्लैब रखा जाए, लेकिन फिर हम किसी फूड आइटम को जीरो पर्सेंट पर नहीं रख पाएंगे। क्या हम दूध और मर्सिडीज पर एक समान टैक्स लगा सकते हैं?" बता दें कि कांग्रेस लगातार सरकार पर जीएसटी में एक टैक्स स्लैब न होने को लेकर हमला बोलती रही है। इसके जवाब में पीएम ने ये बात कही।
कांग्रेस पर पीएम का निशाना
पीएम ने कहा कि कांग्रेस के हमारे मित्र जब यह कहते हैं कि हमारे पास जीएसटी की केवल एक दर होनी चाहिए तो उनके कहने का मतलब है कि वह खाने-पीने की चीज़ों और दूसरी उपभोक्ता वस्तुओं पर 18 फीसदी की दर से कर लगाना चाहते हैं जबकि वर्तमान में इन उत्पादों पर शून्य अथवा 5 प्रतिशत की दर से कर लगाया जा रहा है। यह काफी आसान होता कि जीएसटी में केवल एक ही दर रहती, लेकिन इसका यह भी मतलब होगा कि खाने-पीने की वस्तुओं पर टैक्स की दर शून्य नहीं होगी।
48 लाख नए उद्योग रजिस्ट्रेशन
पीएम ने आलोचकों के उन आरोपों को खारिज कर दिया, जिसमें कहा गया था कि नई टैक्स पॉलिसी बहुत जटिल है। पीएम ने इसके फायदे गिनाते हुए कहा कि जीएसटी जटिल नहीं है जैसा कि आलोचक बताते हैं। देश के आजाद होने के बाद से अब तक 66 लाख इंटरप्राइजेज का रजिस्ट्रेशन कराया गया था, लेकिन GST लागू होने के 1 साल के भीतर ही 48 लाख नए उद्योगों के रजिस्ट्रेशन कराए गए। पिछले साल में 11 करोड़ रिटर्न फाइल किए गए।
जीएसटी का पॉजिटिव इंपेक्ट
पीएम ने लॉजिस्टिक इंडस्ट्री पर जीएसटी के पड़े पॉजिटिव इंपेक्ट के बारे में भी बताया। उन्होंने कहा कि राज्यों की सीमाओं पर लाइनें लगनी बंद हो गई हैं। लोगों का समय बचने लगा और लॉजिस्टिक्स सेक्टर को भी तेजी मिली है। जीएसटी आने के बाद देश के उत्पादन में भी बढ़ोतरी हुई। उन्होंने कहा कि करीब 400 तरह के आइटम्स हैं, जिनपर टैक्स में कटौती की गई, जबकि करीब 150 आइटम्स हैं, जिनपर जीरो टैक्स लागू किया गया। भविष्य में इसमें और सुधार होने की उम्मीद है।
17 कर और 23 उपकर को मिलाकर किए एक
जीएसटी लागू होने के बाद आई दिक्कतों को लेकर पीएम ने कहा कि नए टैक्स सिस्टम में 17 करों और 23 उपकरों को मिलाकर एक कर दिया गया। दुनिया के बड़े इकोनॉमिक सिस्टम में से एक भारत के सिस्टम को इसे अपनाने में थोड़ा समय तो लगेगा ही। पीएम ने कहा कि जीएसटी समय के साथ बेहतर होने वाला सिस्टम है। इसमें राज्य सरकारों, व्यापार जगत के लोगों और संबंधित पक्षों से मिली जानकारी और अनुभवों के आधार पर इसमें लगातार सुधार किया गया है।
Created On :   1 July 2018 6:26 PM IST