केन्द्रीय मंत्री ने की अस्थियों को गंगा में न बहाने की अपील, हिन्दू संगठन भड़के

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। केंद्रीय राज्य मंत्री डॉ. सत्यपाल सिंह द्वारा अस्थियों को गंगा में प्रवाहित न करने की अपील पर हिन्दू संगठन भड़क गए हैं। हिन्दू संगठनों ने सत्यपाल सिंह के इस बयान को हिन्दू विरोधी करार दिया है। अखाड़ा परिषद के मुखिया आचार्य नरेंद्र गिरी ने कहा है कि ऐसा बयान सिर्फ वही दे सकता है, जिसे सनातन धर्म के बारे में कुछ पता नहीं होता। वहीं गंगा सभा के अध्यक्ष पुरुषोत्तम शर्मा ने कहा है कि गंगा में यह परंपरा सालों से चली आ रही है। मंत्री जी को इस तरह के हिन्दू विरोधी बयान देने से बचना चाहिए।
बता दें कि सत्यपाल सिंह मंगलवार को उत्तराखंड के हरिद्वार में नमामि गंगा मिशन के 34 प्रोजेक्ट्स के उद्घाटन के लिए पहुंचे थे। यहां ऋषिकुल ऑडिटोरियम में उन्होंने 918.94 करोड़ रुपए के इन प्रोजेक्ट्स का शिलान्यास और लोकार्पण किया। कार्यक्रम के बाद उन्होंने लोगों से कहा कि गंगा को निर्मल बनाए रखने के लिए अस्थियों को उसमें प्रवाह न करके उसके उपाय पर विचार करें। उन्होंने कहा, "अस्थियों को गंगा में प्रवाहित करने के बजाय उन्हें जमीन पर इकट्ठा करके पूर्वजों के नाम का पौधा लगाया जा सकता है।"
केन्द्रीय राज्य मंत्री ने कहा, "हमें ऐसा कुछ भी नहीं करना चाहिए, जिससे कि गंगा की पवित्रता को प्रभाव पड़े। लोगों की अपनी मान्यताएं है। लेकिन यह आज के समय की मांग है। इसलिए मैं सभी जन से अपील करूंगा कि राख को गंगा में न बहाएं, उसे जमीन में दफ्न किया जाए और फिर उस पर पौधे लगाए जाए, ताकि गंगा भी अविरल बहती रहे और राख से बने वृक्ष से आने वाली पीढ़ियां गुजर चुके लोगों को याद रखें।"
इस कार्यक्रम में उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत भी उनके साथ मौजूद थे। सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि औद्योगिक संस्थानों, कृषि में इस्तेमाल हो रहे केमिकल्स, गंगा के तट पर बसे गांवों के कूड़े-कचरे से गंगा प्रदूषित हो रही है। उन्होंने कहा, "गंगा के 2500 किमी के प्रवाह को अविरल बनाए रखने के लिए समाज के प्रत्येक वर्ग को आगे आना होगा।"
Created On :   20 Dec 2017 5:58 PM IST