छत्तीसगढ़-पैरा एथलीट श्रीमंत ने नौकरी के लिए खटखटाया रमन सरकार का दरवाजा
भिलाई (छत्तीसगढ़)। भिलई के 25 वर्षीय पैरा-एथलीट श्रीमंत झा ने हाथ कुश्ती में राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कई पदक जीते हैं और छत्तीसगढ़ का नेतृत्व भी कर रहे हैं। श्रीमंत झा अपने खेल पर ध्यान केंद्रित कर सके इसके लिए क्रिकेट टीम ने राज्य सरकार से उन्हें नौकरी देने का अनुरोध किया है। वही श्रीमंत झा ने भी अपनी नौकरी के लिए रमन सरकार का दरवाजा खटखटाया है।
श्रीमंत झा सरकार से गुहार
श्रीमंत झा ने अपनी अपील में कहा कि "मैं प्रशासन को अपना प्रदर्शन देखना चाहता हूं। मेरे पास मैकेनिकल इंजीनियरिंग में डिप्लोमा भी है। अन्य राज्यों में खिलाड़ियों की मदद कैसे की जा रही है, मैं चाहता हूं कि छत्तीसगढ़ सरकार मेरी मदद करे ताकि मैं अपने खेल पर ध्यान केंद्रित कर सकूं और देश के लिए आगामी ओलंपिक में पदक जीत सकूं""।
मां ने भी की बेटे नौकरी की अपील
श्रीमंत की मां मनोरमा झा ने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री रमन सिंह से अनुरोध किया कि वे अपने बेटे को नौकरी के साथ मुहैया कराएं। श्रीमंत की मां ने कहा कि ""मैंने अपने आभूषण बेचकर अपने बेटे को खेल के इस मुकाम तक पहुंचाया है। उसे मुझे खेलों के लिए विदेश भेजना पड़ा। मेरे पति ने 4 साल पहले अपना काम खो दिया था। हम दोनों सपनों को पूरा करने के लिए संघर्ष कर रहे हैं। उचित पोषण की कमी में वह कमजोर हो रहा है। मैं मुख्यमंत्री से अनुरोध करता हूं कि वह उन्हें वह नौकरी प्रदान करे जो वह पात्र है। "
विश्व चैम्पियनशिप हैं श्रीमंत झा
श्रीमंत झा वर्तमान में अपने परिवार को आर्थिक रूप से समर्थन देने के लिए एक निजी कंपनी में जूनियर इंजीनियर के रूप में काम कर रहा है। झा, जिनके पास पांच विश्व चैम्पियनशिप पदक हैं, अब आगामी पैरा ओलंपिक का लक्ष्य रखते हैं। उन्होंने 80 किलो वर्ग के तहत पोलैंड में पैरा-आर्म रेसलिंग वर्ल्ड कप में रजत पदक भी हासिल किया। श्रीमंत झा 2010 से हाथ-कुश्ती कर रहे हैं और 2013 से भारत का प्रतिनिधित्व करना शुरू कर दिया है। आश्चर्य की बात तो ये है कि श्रीमंत झा के दोनों हाथों में चार ही अंगुलियां है। जानकारी के मुताबिक श्रीमंत झा की जन्म के समय से दोनों हाथों में चार ही अंगुलियां है।
Created On :   1 May 2018 9:27 AM IST