महाराष्ट्र-गुजरात सीमा पर सैकड़ों ने बकरों ने कुर्बानी से पहले तोड़ा दम

Bakrids goats stuck on Maharashtra-Gujarat border, hundreds of dead before sacrifice
महाराष्ट्र-गुजरात सीमा पर सैकड़ों ने बकरों ने कुर्बानी से पहले तोड़ा दम
महाराष्ट्र-गुजरात सीमा पर सैकड़ों ने बकरों ने कुर्बानी से पहले तोड़ा दम

डिजिटल डेस्क, मुंबई। बकरीद के लिए सरकार ने बकरों की ऑनलाइन खरीदारी की इजाजत तो दे दी, लेकिन अब दूसरे राज्यों से आ रहे बकरों से लदे वाहनों को राज्य की सीमा में दाखिल नहीं होने दिया जा रहा है। मुंबई गुजरात सीमा पर फिलहाल जानवरों से भरे 300 वाहन खड़े हैं। लोग परेशान हैं क्योंकि रोजाना कई बकरों की मौत हो रहीं है। अब सरकार में शामिल मुस्लिम मंत्रियों पर लोगों का गुस्सा फूट रहा है। भाजपा नेता हाजी अराफात शेख ने दावा किया है कि मुंबई से लगी सीमा पर एक हजार जानवरों से लदे वाहन खड़े हैं, जिन्हें मीरारोड से वसई तक रोक कर रखा गया है। तलासरी नाके पर बकरों भरी गाड़ी लेकर फंसे अबू बकर ने बताया कि नाके पर खड़े पुलिस वाले यह कहते हुए बकरों से भरी गाड़ियां रोक रहे हैं कि उन्हें ऊपर से ऐसा करने का आदेश है। लेकिन सरकार को ऐसा ही करना था तो ऑनलाइन खरीदारी की इजाजत क्यों दी गई। अबू बकर ने बताया कि यहां खड़ी है गाड़ी में रोजाना एक दो बकरों की मौत हो रही है। लोग कई महीनों से बकरी पाल रहे थे कि बकरीद में उन्हें बेचकर कुछ कमाई करेंगे लेकिन कोरोना संक्रमण के चलते पहले ही परेशान लोगों की आखिरी उम्मीद भी उनके सामने ही दम तोड़ रही है।उन्होंने बताया कि परेशान दो लोगों ने खुद पर मिट्टी का तेल छिड़ककर आत्महत्या की भी कोशिश की, लेकिन उन्हें किसी तरह समझा बुझा लिया गया।

सरकार से इस्तीफा दे मुस्लिम मंत्री

आल इंडिया जमीयतुल कुरेश के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष इमरान बाबू कुरैशी ने कहा कि ऑनलाइन खरीदारी का फैसला पूरी तरह असफल साबित हुआ है। अगर मुस्लिम मंत्री और विधायक मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और राकांपा अध्यक्ष शरद पवार को अपनी बात समझा नही पा रहे हैं तो उन्हें इस्तीफा दे देना चाहिए। मुस्लिम समुदाय के सबसे बड़े त्योहार के लिए मुस्लिम समुदाय के विधायक कुछ नहीं कर पा रहे हैं।

ऑनलाइन खरीदारी के नाम पर खिलवाड़

भाजपा नेता और अल्पसंख्यक आयोग के पूर्व प्रमुख हाजी अराफात शेख का आरोप है कि ऑनलाइन बकरों की खरीदारी के नाम पर राज्य सरकार मुसलमानों की भावनाओं के साथ खिलवाड़ कर रही है। यही नहीं महाविकास आघाड़ी सरकार के मुस्लिम कैबिनेट मंत्री अपने कर्तव्यों में पूरी तरह से विफल हो गए हैं। उन्होंने कहा कि अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री नवाब मलिक कहते हैं कि ऑनलाइन बकरों को खरीद कर कुर्बानी की जाए, तो मैं उनसे पूछना चाहता हूं कि मुसलमान ऑनलाइन एक स्वस्थ बकरा कैसे खरीदेगा जबकि यह शरीयत के खिलाफ है। एक ओर ऑनलाइन के नाम पर मुसलमानों को गुमराह किया जा रहा है तो दूसरी तरफ बकरों की गाड़ियों को जब्त किया जा रहा है। शेख के मुताबिक हजारों बकरे भूख, प्यास और खड़े-खड़े बीमार होकर मर रहे हैं। क्या यह जानवरों के लिए क्रूरता नहीं है कि उन्हें बिना भोजन और पानी के टेम्पो में रखने के लिए मजबूर किया जा रहा है और उन्हें शहरों की सीमाओं में प्रवेश करने की अनुमति नहीं दी जा रही है।  

Created On :   29 July 2020 6:36 PM IST

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story