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सुनवाई से पहले कांग्रेस ने वापस ले ली राहुल गांधी की रैली की अनुमति वाली याचिका
डिजिटल डेस्क, मुंबई। मुंबई कांग्रेस अध्यक्ष भाई जगताप ने मंगलवार शिवाजी पार्क में 28 दिसंबर 2021 को कांग्रेस सांसद राहुल गांधी की रैली की अनुमति के लिए राज्य सरकार को निर्देश देने की मांग को लेकर को बांबे हाईकर्ट में दायर की गई याचिका को वापस ले लिया है। जगताप ने सोमवार को इस विषय पर हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। मंगलवार को जगताप की ओर से पैरवी कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता वीए थोरात ने न्यायमूर्ति एए सैयद व न्यायमूर्ति अभय अहूजा की खंडपीठ के सामने रैली के आयोजन से जुड़ी याचिका का उल्लेख किया। इसके साथ ही श्री थोरात ने कहा कि उन्हें इस याचिका को बिना किसी शर्त के वापस लेने का निर्देश मिला है। इसके बाद खंडपीठ ने थोरात को याचिका वापस लेने की अनुमति प्रदान कर दी। हालांकि अधिवक्ता थोरात ने याचिका वापस लेने के पीछे क्या वजह है इसका उन्होंने खुलासा नहीं किया।
याचिका में जगताप ने कहा था कि 28 दिसंबर को होने वाली रैली के लिए इस साल अक्टूबर में राज्य सरकार से अनुमति के लिए आवेदन किया था। इस रैली के संबोधन के लिए लिए कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी व राहुल गांधी को आमंत्रित किया गया है। लेकिन अब तक राज्य सरकार की ओर से इस आवेदन पर कोई निर्णय नहीं लिया गया है। इसलिए याचिका में मांग की गई थी कि राज्य सरकार को शिवाजी पार्क में रैली के आयोजन, बैठक व मैदान में अस्थायी पंड़ाल बनाने की अनुमति देने का निर्देश दिया जाए।
जगताप ने याचिका में कांग्रेस के 137 वें स्थपना दिवस के मौके पर 22 से 28 दिसंबर के बीच दादर स्थित शिवाजी पार्क मैदान के इस्तेमाल की इजाजत मांगी थी। याचिका में 28 दिसंबर के दिन को कांग्रेस के लिए खास बताया गया था। गौरतलब है कि साल 2010 में एक जनहित याचिका पर सुनवाई के बाद शिवाजीपार्क को शांत क्षेत्र घोषित कर दिया गया था। इसके बाद राज्य सरकार ने साल के 45 दिन ही इस मैदान का इस्तेमाल खेल गतिविधियों के इतर करने का प्रावधान किया था। 11 दिन अन्य कामों के लिए भी मैदान का उपयोग हो सकता है। सरकार ने इस साल अभी इन 11 दिनों का इस्तमाल नहीं किया है।
कांग्रेस का अपमान कर रही शिवसेना-राकांपाः राम कदम
कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी व राहुल गांधी की मुंबई में रैली के लिए महा आघाडी सरकार द्वारा अनुमति न दिए जाने पर भाजपा ने कटाक्ष किया है। प्रदेश भाजपा प्रवक्ता विधायक राम कदम ने कहा कि कांग्रेस के महाराष्ट्र सरकार में शामिल होने के बावजूद उनके नेता की रैली के लिए अनुमति नहीं दी जा रही। शिवसेना व राकांपा जैसे प्रादेशिक दल कांग्रेस जैसे राष्ट्रीय दल का अपमान कर रहे हैं। लाचार कांग्रेस को कोर्ट की शरण में जाना पड़ा। भाजपा विधायक ने कहा कि तीनों सत्ताधारी दलों का आपसी संघर्ष फिर सामने आया है। इन तीनों दलों के झगड़े में सारी विकास कार्य ठप पड़ गए हैं।
Created On :   14 Dec 2021 8:42 PM IST