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किस्मत आजमा रहे 12 उम्मीदवार, कांग्रेस-भाजपा के बीच टक्कर
डिजिटल डेस्क, मुंबई। प्रदेश में नांदेड़ की देगलूर सीट पर होने वाले विधानसभा के चुनाव में महाविकास आघाड़ी सरकार की सहयोगी कांग्रेस और विपक्षी दल भाजपा के बीच कड़ी टक्कर के आसार हैं। कांग्रेस के उम्मीदवार जितेश अंतापुरकर और भाजपा के प्रत्याशी सुभाष साबने के बीच टक्कर होगी। हालांकि उपचुनाव से ऐन पहले पूर्व सांसद भास्करराव पाटील- खतगावकर ने भाजपा को छोड़ दिया है। यह भाजपा उम्मीदवार साबने के लिए बहुत बड़ा झटका माना जा रहा है। इस उपचुनाव में प्रदेश के सार्वजनिक निर्माण कार्य मंत्री अशोक चव्हाण की प्रतिष्ठा दांव पर लगी हुई है। जबकि भाजपा के लिए सोलापुर के पंढरपुर उपचुनाव के नतीजों को दोहराने की चुनौती है। यह उपचुनाव कांग्रेस प्रत्याशी जितेश के पिता तथा पूर्व विधायक रावसाहब अंतापुरकर के निधन के चलते हो रहा है। इससे कांग्रेस को उपचुनाव में सहानुभूति की लहर का भरोसा है जबकि भाजपा ने देगलूर उपचुनाव में साबने को शिवसेना से तोड़कर उम्मीदवारी दी है। इसलिए भाजपा को पंढरपुर उपचुनाव की तरह दोबारा करिश्मा होने की उम्मीद है। देगलूर उपचुनाव में कुल 12 उम्मीदवार चुनावी मैदान में उतरे हैं। जबकि साल 2019 के विधानसभा चुनाव में देगलूर सीट पर सिर्फ 9 उम्मीदवारों ने चुनाव लड़ा था।साल 2019 के विधानसभा चुनाव के मुकाबले इस उपचुनाव में देगलूर सीट पर 2165 ज्यादा मतदाता हैं। राज्य के मुख्य चुनाव अधिकारी कार्यालय के एक अधिकारी ने दैनिक भास्कर से बातचीत में बताया कि उपचुनाव के मतदान के लिए 412 बूथ तैयार किए जा रहे हैं। इसमें से एक बूथ का संचालन केवल महिलाएं ही करेंगी। वहींसाल 2019 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के उम्मीदवार रावसाहब अंतापुरकर और शिवसेना के उम्मीदवार के रूप में साबने का मुकाबला हुआ था। जिसमें रावसाहब अंतापुरकर ने 22 हजार 433 वोटों से जीत हासिल की थी। लेकिन साबने ने साल 2014 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस उम्मीदवार रहे रावसाहब अंतापुरकर को हराया था। जबकि साल 2009 के विधानसभा चुनाव में रावसाहब अंतापुरकर ने साबने को हराया था। इस सीट से कांग्रेस रावसाहब का बीते 9अप्रैल को निधन हो गया था। इसके चलते देगलुर सीट पर उपचुनाव के लिए 30 अक्टूबर को मतदान होगा। रावसाहब की गिनती कांग्रेस के मंत्री चव्हाण के करीबी विधायकों में से होती थी।
इसके पहले बीते मई महीने में भाजपा ने पंढरपुर उपचुनाव में समाधानआवताडे को उम्मीदवार बनाया था। आवताडे साल 2014 में इसी सीट पर शिवसेना के टिकट पर चुनाव लड़ चुके थे। इससे आवताडे के जीत की राह आसान हो गई थी। हालांकि राजनीतिक जानकारों के मुताबिक पंढरपुर में भाजपा विधायक प्रशांत परिचारक के परिवार का दबदबा था। इसलिए आवताडे की उपचुनाव में जीत का राह आसान हो गई थी।
देगलूर सीट की चुनावी स्थिति
देगलूर उपचुनाव में कुल मतदाता
पुरुष- 1,51,779
महिला- 1,42,256
कुल - 2,94,035
साल 2019 के चुनाव में देगलूर सीट पर मतदाता
पुरुष - 1,50,777
महिला -1,41,093
कुल -2,91,870
उपचुनाव के लिए बूथ संख्या - 412
उपचुनाव में औसत मतदाता प्रति बूथ-714
साल 2019 के चुनाव में देगलूर सीट पर बूथ की संख्या- 346
साल 2019 के चुनाव में देगलूर सीट पर औसत मतदाता प्रति बूथ-844
उपचुनाव के लिए मैदान में कुल उम्मीदवार- 12
साल 2019 में हुए विधानसभा चुनाव में देगलूर सीट पर उम्मीदवार-9
Created On :   17 Oct 2021 7:34 PM IST