सिटी अस्पताल में बिना डिग्री के फार्मासिस्ट बना देवेश

Devesh became a pharmacist without a degree in City Hospital
सिटी अस्पताल में बिना डिग्री के फार्मासिस्ट बना देवेश
सिटी अस्पताल में बिना डिग्री के फार्मासिस्ट बना देवेश

नकली रेमडेसिविर मामला - एसआईटी ने शुरू की पूरे स्टाफ में हुई नियुक्तियों की जाँच, सीएमएचओ को भेजे दस्तावेज 
डिजिटल डेस्क  जबलपुर ।
नकली रेमडेसिविर मामले में आरोपी बनाए गए सिटी अस्पताल के संचालक सरबजीत मोखा के नए-नए कारनामे उजागर हो रहे हैं। एसआईटी की जाँच में एक और इस बात का खुलासा हुआ है कि अस्पताल में दवा विभाग का काम देखने वाले देवेश चौरसिया के पास फार्मासिस्ट की डिग्री ही नहीं है। इसके बावजूद मोखा ने उसकी यहां नियुक्ति कर दी थी। वह दुकान में काम देखता है। इस खुलासे के बाद अब अस्पताल के अन्य स्टाफ की नियुक्तियों की भी जाँच शुरू की गई है। सूत्रों के अनुसार नकली रेमडेसिविर मामले का पूरा खुलासा सिटी अस्पताल के दवा इंजार्च देवेश चौरसिया द्वारा किया गया था। उससे पूछताछ के बाद एसआईटी द्वारा उसकी नियुक्ति संबंधी दस्तावेज जाँच के लिए सीएमएचओ को भेजे गए थे। दस्तावेजों की जाँच के उपरांत जो रिपोर्ट एसआईटी को भेजी गई है उसमें यह बताया गया कि देवेश की नियुक्ति नियम विरुद्ध तरीके से की गई थी। जानकारों का कहना है कि बिना फार्मासिस्ट की डिग्री के किसी को दवा दुकान में भी काम नहीं मिल सकता ऐसे में देवेश को अस्पताल में इस जिम्मेदार पद पर बैठाया गया था। इसी तरह सिटी अस्पताल में कुछ महत्वपूर्ण पदों पर भी इसी तरह की नियुक्तियाँ होना बताया जा रहा है। इस जानकारी के आधार पर अब अस्पताल के पूरे स्टाफ के दस्तावेजों की जाँच शुरू की गई है।

Created On :   8 Jun 2021 2:34 PM IST

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