सेवानिवृत्ति के बाद नहीं वसूली जा सकती कर्मचारी को दी गई अधिक राशि-HC

Higher amount given to employee can not be recovered after retirement
सेवानिवृत्ति के बाद नहीं वसूली जा सकती कर्मचारी को दी गई अधिक राशि-HC
सेवानिवृत्ति के बाद नहीं वसूली जा सकती कर्मचारी को दी गई अधिक राशि-HC

डिजिटल डेस्क,मुंबई। एक रिटायर्ड महिला टीचर के मामले HC ने कहा कि यदि कर्मचारी को भत्ते के रूप में अधिक रकम का भुगतान किया जाता है तो रिटायर्ड होने के बाद इस रकम की वसूली नहीं की जा सकती ।  एक महिला जुलाई 2005 में मुंबई महानगर की उर्दू स्कूल से रिटायर्ड हुई थी।   बाद में उसने मनपा प्रशासन से अनुरोध किया कि उसकी बकाया छुट्टी के बदले पैसों का भुगतान किया जाए। किंतु मनपा ने महिला शिक्षक की बात पर ध्यान नहीं दिया। इससे असंतुष्ट महिला ने बांबे हाईकोर्ट में याचिका दायर की। 

अतिरिक्त राशि में छुटि्टयों के भी जोड़ दिए
न्यायमूर्ति भूषण गवई व न्यायमूर्ति मनीष पिटाले की खंडपीठ के सामने याचिका पर सुनवाई हुई। इस दौरान मनपा के वकील ने खंडपीठ के सामने दावा किया कि जब महिला को छठवें वेतन आयोग की बकाया राशि(एरिअर)का भुगतान किया गया था तो उसे अतिरिक्त रकम का भुगतान किया गया था। इसके अलावा गलती से भत्ते(डीए) की रकम भी अधिक दी गई थी। मनपा ने जब महिला के सेवानिवृत्त से जुड़े लाभ की रकम का लेखा जोखा दिया तो उसमें मनपा की ओर से भुगतान की गई अतिरिक्त रकम में छुट्टी के पैसे को मिला दिया गया। 

मनपा को दिया 4 सप्ताह का समय                                                                                                             महिला शिक्षक के वकील ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले का हवाला देते हुए कहा कि कर्मचारी के करियर के अंतिम पडाव व उसके सेवानिवृत्त के बाद उसे दी गई अतिरिक्त रकम की वसूली नहीं की जा सकती है। कानून इसकी इजाजत नहीं देता है। यह नियमों के खिलाफ है। महिला के वकील ने कहा कि मेरी मुवक्किल सेवानिवत्ति के बाद अपनी बकाया छुट्टी के एवज में पैसे पाने का हक रखती है।  मामले से जुड़े दोनों पक्षों को सुनने के बाद खंडपीठ ने कहा कि सेवानिवृत्ति के बाद मनपा महिला शिक्षक को किए गए अधिक भुगतान की रकम की वसूली नहीं कर सकती है। खंडपीठ ने महिला के वकील की दलीलों को स्वीकार करते हुए मनपा को चार सप्ताह के भीतर महिला शिक्षक  को छुट्टी के एवज में बकाया रकम का सालाना 6 प्रतिशत ब्याज के साथ भुगतान करने का निर्देश दिया। 

Created On :   9 Dec 2017 5:36 PM IST

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