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विधायको को घर देने के मामले में आव्हाड बोले - मुफ्त नहीं दिया जा रहा है
डिजिटल डेस्क, मुंबई। राज्य सरकार द्वारा विधायको को घर देने की योजना पर जहाँ आम लोग नाराजगी जता रहे हैं, वहीं विपक्ष विधायको भी यह योजना रास नहीं आ रही है। विवाद बढ़ता देख राज्य सरकार ने साफ किया है विधायकों को यह घर मुफ्त में नहीं दिया जाएगा इसके लिए उन्हें करीब 70 लाख रुपए तक देने होंगे। इस बीच सोशल मीडिया पर सरकार के इस फैसले की आलोचना हो रही है। शुक्रवार को विधानभवन परिसर में पत्रकारों से बातचीत में राज्य के गृह निर्माण मंत्री जीतेंद्र आव्हाड ने कहा कि महाराष्ट्र में सरकार ने सभी वर्गों को सस्ते घर उपलब्ध कराए हैं। राज्य में बहुत से ऐसे विधायक हैं जिनके पास मुंबई में घर नहीं हैं। मुंबई के गारेगांव इलाके में विधायकों को घर देने की योजना है। पर इस योजना में मुंबई और आसपास के इलाके के विधायकों को घर नहीं मिलने वाला है। ग्रामीण इलाकों के जिन विधायकों को घर दिया जाएगा उनको भी इसके लिए पैसे देने होंगे। इस बीच कांग्रेस विधायक प्रणिती शिंदे ने कहा कि मेरे पास मुंबई में घर है, इस लिए मुझे इस योजना में घर की जररुत नहीं है। उन्होंने कहा कि ग्रामीण इलाके के बहुत से ऐसे विधायक हैं जिनके पास मुंबई में घर नहीं हैं। इस लिए विधायकों को घर मिलना चाहिए।
मनसे-भाजपा विधायकों ने किया विरोध
प्रदेश भाजपा अध्यक्ष विधायक चंद्रकांत पाटील ने कहा कि विधायक सरकार का साथ न छोड़ दे इस लिए उनको घर दिया जा रहा है। भाजपा के वरिष्ठ नेता सुधीर मुनगंटीवार ने कहा कि अंधेर नगरी चौपट राजा वाला हाल है। इस सरकार की चमड़ी गैंडे से भी ज्यादा मोटी है। मनसे विधायक राजू पाटील ने इस योजना का विरोध करते हुए कहा कि विधायकों को घर देने की बजाय सरकार को आम जनता को 200 यूनिट मुफ्त बिजली देनी चाहिए। प्रदेश भाजपा के प्रवक्ता व विधायक राम कदम ने मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को पत्र लिख कर कहा है कि विधायकों को मुफ्त घर देने से पहले कोरोना काल में लोगों की सेवा करने वाले डाक्टरों, शहीदों की विधवाओं, पुलिस कर्मचारियों को पहले घर देंगे कि खुद का भला करने के लिए विधायकों को पहले घर दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि जनता जानना चाहती है कि विधायकों से पहले इन जरुरतमंदों को घर मिलेगा क्या।
288 में 266 विधायक हैं करोड़पति
एसोसिएशन फार डेमोक्रेटिक रिफोर्म (एडीआर) की रिपोर्ट के अनुसार महाराष्ट्र के अधिकांश विधायक करोडपति हैं। इनमें भाजपा के पराग शाह, मंगल प्रभात लोढ़ा और सपा के अबू आजमी तो कई सौ करोड़ की संपत्ति के मालिक हैं। चुनावी हलफनामे के मुताबिक, शाह के पास 500 करोड़ से ज्यादा की चल-अचल संपत्ति है। वहीं मंगल प्रभात लोढ़ा 411 करोड़ औरआजमी 209 करोड़ की संपत्ति के मालिक है। संजय जगताप के पास250 करोड़ रुपये की संपत्ति है। एडीआर के आंकड़ों के मुताबिक 2019 की विधानसभा के 288 विधायकों में से 266 करोड़पति हैं. भाजपा के 95 प्रतिशत विधायक, शिवसेना के 93 प्रतिशत विधायक, राकांपा के 89 प्रतिशत विधायक और कांग्रेस के 96 प्रतिशत विधायक करोड़पति हैं। इनमें से ज्यादातर विधायकों के घर मुंबई में हैं।
Created On :   25 March 2022 9:05 PM IST