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परप्रांतियों को निशाना बनाना उचित नहीं
डिजिटल डेस्क, मुंबई। मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के दूसरे राज्यों से आने वाले लोगों का रिकॉर्ड रखने वाले बयान को लेकर राजनीति गरमा गई है। भाजपा ने मुख्यमंत्री की इस भूमिका को परप्रांतीय विरोधी करार दिया है। मंगलवार को प्रदेश भाजपा अध्यक्ष चंद्रकांत पाटील ने कहा कि किसी समाज को निशाने पर लेना उचित नहीं है। पाटील ने पूछा कि केवल परप्रांतीय ही इस तरीके का अपराध करते हैं क्या? महाराष्ट्र का व्यक्ति इस तरह का अपराध नहीं करता है क्या ? पाटील ने कहा कि राज्य में अपराध की घटनाओं का अध्ययन किया गया तो कुछ और ही सत्य सामने आएगा। उसका रिकार्ड भी रखेंगे क्या? जबकि भाजपा विधायक अतुल भातखलकर ने दावा करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री ने दूसरे राज्यों से आने वाले परप्रांतियों के रिकॉर्ड को रखने का निर्देश दिया है। मुख्यमंत्री की इस भूमिका से दो समुदायों के बीच द्वेष पैदा होगा। समाज में कई लोगों को लगेगा कि परप्रांतियों के कारण दुष्कर्म की घटनाएं बढ़ रही हैं। इसलिए मैंने मुख्यमंत्री के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग को लेकर कांदिवली के समता नगर पुलिस स्टेशन में लिखित शिकायत दी है। भातखलकर ने कहा कि शिवसेना के मुखपत्र में साकीनाका दुष्कर्म की घटना को जौनपुर पैटर्न करार दिया है। लेकिन प्रदेश के सामाजिक न्याय मंत्री धनंजय मुंडे और पूर्व मंत्री संजय राठोड पर लगे हुए आरोपों का क्या हुआ ? मुख्यमंत्री को इस पर जवाब देना चाहिए। जबकि शिवसेना सांसद संजय राऊत ने कहा कि महाराष्ट्र ने महिलाओं की सुरक्षा से कभी समझौता नहीं किया है। सरकार महिला सुरक्षा को लेकर संवेदनशील है। इसके पहले सोमवार को मुख्यमंत्री ने गृह विभाग की बैठक में रिक्शा का अवैध हस्तांतरण को रोकने और दूसरे राज्यों से आने वाले लोगों का रिकॉर्ड रखने को कहा था।
महिला अपराध में 80 प्रतिशत परप्रांतीय लिप्त
राज्य में महिला अत्याचार के बढ़ते मामले को लेकर मनसे की महासचिव शालिनी ठाकरे ने प्रदेश के गृह मंत्री दिलीप वलसे-पाटील से मंत्रालय में मुलाकात की। शालिनी ने कहा कि महाराष्ट्र में महिलाओं के खिलाफ अत्याचार से जुड़े मामलों में लगभग 80 प्रतिशत परप्रांतीय अपराध करते हैं। क्योंकि राज्य में परप्रांतियों का कोई रिकॉर्ड नहीं रखा जाता है। इस कारण महिलाओं के खिलाफ अपराध के मामले बढ़ रहे हैं। शालिनी ने कहा कि भाजपा को वोट बैंक की चिंता है। इसलिए भाजपा के नेता मुख्यमंत्री की भूमिका की आलोचना कर रहे हैं।
मुख्यमंत्री ने विशेष रूप से परप्रांतियों के लिए नहीं कहा है-मलिक
प्रदेश के अल्पसंख्यक विकास मंत्री नवाब मलिक ने कहा कि मुख्यमंत्री ने विशेष रूप से परप्रांतियों के लिए नहीं कहा है। उन्होंने कानून सुव्यवस्था बनाए रखने के लिए सभी लोगों के लिए नियमों को सख्ती से लागू करने के लिए निर्देश दिए हैं। मलिक ने कहा कई रिक्शा चालक अपने परमिट को नियमों के अनुसार हस्तांतरित न करते हुए पैसे लेकर दूसरों को इस्तेमाल के लिए देते हैं। रिक्शा चालकों को नियमों का पालन करना चाहिए। मलिक ने कहा कि घर मालिकों को किराए पर रूम देने के लिए किराएदार की स्थानीय पुलिस स्टेशन में जानकारी देना अनिवार्य है। इन नियमों का लागू करने की जिम्मेदारी स्थानीय प्रशासन की है।
जांच हुई तो पता चल जाएगा जौनपुर पैटर्न ने मुंबई में कितनी गंदगी कर रखी है
इससे पहले शिवसेना सांसद संजय राऊत ने अंधेरी स्थित साकीनाका दुष्कर्म मामले के बाद अजीब दावा किया था। साकीनाका दुष्कर्म मामले का आरोपी उत्तर प्रदेश के जौनपुर का रहने वाला है। इसी आधार पर सोमवार को शिवसेना के मुखपत्र सामना के संपादकीय में राऊत ने कहा कि साकीनाका दुष्कर्म प्रकरण की जांच गहराई से करें तो पता चल जाएगा कि मुंबई में जौनपुर पैटर्न ने कितनी गंदगी कर रखी है। राऊत ने दावा करते हुए कहा कि साकीनाका दुष्कर्म की घटना से सभी को आघात पहुंचा है फिर भी मुंबई महिलाओं के लिए दुनिया का अत्यंत सुरक्षित शहर है। राऊत ने कहा कि मुंबई और महाराष्ट्र में कानून का राज है। विपक्ष साकीनाका दुष्कर्म मामले को लेकर चाहे कितनी भी धूल उड़ाएं, फिर भी कानून के राज को कोई ठेस नहीं पहुंचेगी। राऊत के इस टिप्पणी पर भाजपा ने कड़ा पलटवार किया है। प्रदेश भाजपा के उत्तर भारतीय मोर्चा के प्रमुख संजय पाण्डेय ने कहा कि अपराधियों और बलात्कारियों का कोई जाति, धर्म और प्रांत नहीं होता है। वह सिर्फ अपराधी होती है।
पाण्डेय ने कहा कि राऊत जैसे बीमार मानसिकता के लोग महाराष्ट्र की प्रगतिशील प्रतिमा को कंलकित कर रहे हैं। राऊत को पूरे उत्तर भारतीय समाज से माफी मांगनी चाहिए। पाण्डेय ने कहा कि राऊत ने साकीनाका दुष्कर्म को जौनपुर पैटर्न कहकर संबोधित किया है। मेरा उनसे सवाल है कि वे पुणे और औरंगाबाद में हुई दुष्कर्म की घटनाओं को कौन से पैटर्न का नाम देंगे? दूसरी ओर प्रदेश भाजपा उपाध्यक्ष चित्रा वाघ ने भी मुंबई में महिलाओं के सुरक्षित होने के दावे की आलोचना की है। वाघ ने राज्य में महिला अत्याचार की बढ़ते मामले को लेकर राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी से भी मुलाकात की है।
Created On :   14 Sept 2021 3:30 PM IST