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नहीं खुली दुकानें-सार्वजनिक परिवहन की रफ्तार हुई बाधित

डिजिटल डेस्क, मुंबई। लखीमपुर खीरी में हुई किसानों की हत्या के विरोध में सत्ताधारी महाविकास आघाड़ी सरकार की तीनों पार्टियों द्वारा घोषित बंद का राज्य में मिलाजुला असर दिखा। बंद के दौरान मुंबई समेत राज्य के ज्यादातर हिस्सों में दुकानें बंद रहीं। सार्वजनिक परिवहन और यातायात के दूसरे साधन भी कम चले। मुंबई और आसपास के इलाकों में शिवसैनिक कई इलाकों में जबरन दुकानें और ऑटो-टैक्सी बंद कराते नजर आए। ठाणे में शिवसैनिक ऑटोचालकों से मारपीट करते दिखे हालांकि बाद में पार्टी की ओर से दावा किया गया कि ज्यादा किराया मांगने के चलते यह मारपीट की गई। वहीं मुंबई में आठ बेस्ट की बसों में तोड़फोड़ के बाद सड़कों से बसें हटा ली गईं। तोड़फोड़ के डर के चलते मुंबई की सड़कों पर ऑटो-टैक्सी कम दिखीं लेकिन लोकल ट्रेनें सुचारु रुप से चलतीं रहीं। मुंबई पुलिस ने बंद के दौरान नियम तोड़ने और कानून हाथ में लेने के आरोप में 2 एफआईआर और दो असंज्ञेय अपराध का मामला दर्ज किया और 200 से ज्यादा लोगों को हिरासत में लिया है। मुंबई पुलिस के प्रवक्ता डीसीपी चैतन्य एस ने बताया कि मुंबई के कांदिवली और समता नगर में बंद के दौरान कानून हाथ में लेने वालों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है जबकि विभिन्न इलाकों से 200 लोगों को हिरासत में लिया गया। शाम चार बजे तक कारोबारियों ने दुकानें बंद रखीं जबकि उसके बाद ज्यादातर इलाकों में दुकानें खुल गईं।
एसटी भी हुई प्रभावित
राज्य परिवहन (एसटी) की बसें भी बंद के चलते प्रभावित हुईं। राज्य में रोजाना चलने वाली कुल 18947 बसों में से 2885 बसें नहीं चलाई गईं। सबसे ज्यादा करीब 75 फीसदी बसें बुलढाणा में रद्द की गईं जबकि राज्यभर में 15 फीसदी कम बसें सड़कों पर उतरीं। नागपुर में भी 602 की जगह सोमवार को 501 बसें ही चलीं।
Created On :   11 Oct 2021 9:24 PM IST