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ईडी के दफ्तर नहीं पहुंची शिवसेना सांसद गवली, जारी किया था पूछताछ के लिए समन
डिजिटल डेस्क, मुंबई। यवतमाल-वाशिम सीट से शिवसेना सांसद भावना गवली सोमवार को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के सामने पेश नहीं हुईं। ईडी ने गवली के करीबी सईद खान को मनी लांडरिंग के मामले में गिरफ्तार करने के बाद उन्हें समन भेजकर सोमवार को पूछताछ के लिए ईडी के दक्षिण मुंबई स्थित ऑफिस बुलाया था। लेकिन गवली ने समन देरी से मिलने का हवाला देते हुए जांच एजेंसी से 15 दिन का और समय मांगा है। सूत्रों के मुताबिक जांच एजेंसी भावना गवली और खान को आमने-सामने बिठाकर पूछताछ करना चाहती थी लेकिन अभी गवली ने और समय मांगा है। इसके बाद ईडी भी जांच का हवाला देते हुए खान की हिरासत बढ़ाने की मांग कर सकती है। कुछ दिनों पहले गवली ने मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे से भी मुलाकात की थी। बता दें कि 18.18 करोड़ रुपए की वित्तीय अनियमितता के मामले में ईडी ने गवली और दूसरे आरोपियों के खिलाफ मनी लांडरिंग का मामला दर्ज कर छानबीन शुरू की है। छानबीन के बाद जांच एजेंसी को 69 करोड़ रुपए की हेराफेरी के सबूत मिले हैं। खान की हिरासत आवेदन में ईडी ने दावा किया है कि वित्तीय अनियमितता भावना गवली के इशारे पर ही हुई है और पैसे निकालने से जुड़े आदेश देने का अधिकार उनके ही पास था क्योंकि वे इस समय रिसोड अर्बन को-आपरेटिव सोसायटी की चेयरमैन थी।
पिछले साल मई महीने में वाशिम के रिसोड पुलिस स्टेशन में भावना गवली ने ही अपने निजी सचिव रहे अशोक गंडोले के खिलाफ महिला उत्कर्ष प्रतिष्ठान में 18.18 करोड़ रुपए की वित्तीय अनियमितता का आरोप लगाते हुए एफआईआर दर्ज कराई थी। इसी एफआईआर के आधार पर ईडी ने पीएमएलए कानून के तहत ईसीआईआर दर्ज कर छानबीन शुरू की और पाया कि वित्तीय गड़बड़ी के इस खेल की मास्टर माइंड भावना गवली ही है। उन्होंने खान और दूसरे आरोपियों के साथ मिलकर महिला उत्कर्ष प्रतिष्ठान नाम के ट्रस्ट को कंपनी में बदल दिया। इसके बाद फर्जी दस्तावेजों का सहारे ट्रस्ट की 69 करोड़ रुपए की संपत्ति कंपनी के हवाले कर दिया गया। खान और भावना गवली की मां शालिनी गवली इस कंपनी की निदेशक बनाई गईं।
Created On :   4 Oct 2021 9:23 PM IST