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खतरा अभी टला नहीं कागजों में तीसरी लहर की तैयारी, विक्टोरिया में सिर्फ टेंडर हुआ, एल्गिन में बजट का इंतजार
मेडिकल अस्पताल मेें केवल संक्रमित बच्चों को भर्ती करने की व्यवस्था, जिम्मेदार बेफिक्र
डिजिटल डेस्क जबलपुर । कोरोना की संभावित तीसरी लहर का प्रभाव बच्चों में पडऩे की संभावना को लेकर अस्पतालों में सुविधाएँ बढ़ाने और विशेष वार्ड बनाने को लेकर तैयारियाँ की जा रहीं हैं। एक पखवाड़े पहले जिले के तीन प्रमुख शासकीय अस्पतालों में संक्रमित बच्चों को भर्ती करने अलग-अलग स्तर पर तैयारियाँ शुरू की गईं थीं, जिसमें पहले से उपलब्ध संसाधनों को दुरुस्त किया जाना था, वहीं नए वार्ड भी बनाए जाने थे। क्षमता बढ़ाने के साथ बच्चों के लिए जरूरी जीवन रक्षक उपकरणों की लिस्ट भी प्रशासन को भेजी गई। इस बात के एक पखवाड़ा बीत जाने के बाद भी ग्राउंड लेवल पर स्थिति में कुछ विशेष बदलाव नहीं आया है। एल्गिन हॉस्पिटल में बनने वाले पीआईसीयू लेवल अभी प्रपोजल फेज में है, वहीं जिला अस्पताल की हाई डिपेंडेंसी यूनिट को बनाने के लिए टेंडर ही हो सका है, काम अभी भी बाकी है। सिर्फ मेडिकल कॉलेज में ही इतनी तैयारी हो सकी है कि संक्रमित बच्चों को भर्ती किया जा सकता है। डेल्टा प्लस वैरिएंट, संभावित तीसरी लहर और तीसरी लहर का बच्चों पर खतरा.. इन सभी बातों को जिम्मेदार अच्छे से परिचित हैं, लेकिन फिर भी तैयारियों को लेकर ढुलमुल रवैया बना हुआ है।
विक्टोरिया हॉस्पिटल
* हाई डिपेंडेंसी यूनिट के अंतर्गत ऑक्सीजन के 20 पलंग तैयार करने हैं, वहीं 15 ऑक्सीजन बेड एनआरसी में बनाए जाने हैं। अधिकारियों का कहना है कि आवश्यकता पडऩे पर वार्ड नंबर 1 को पीआईसीयू में बदल दिया जाएगा। यहाँ 20 पलंग तैयार किए जाएँगे।
6जिला अस्पताल में पहले से मौजूद पीडियाट्रिक आईसीयू वार्ड की क्षमता भी बढ़ाई जा सकती है। फिलहाल यहाँ 10 बिस्तर हैं।
वर्तमान स्थिति
* हाई डिपेंडेंसी यूनिट बनाने के लिए टेंडर निकाला गया है। छिंदवाड़ा की एक कंपनी इसे बनाएगी। अभी फिलहाल 20 बिस्तरों को देखते हुए 20 ऑक्सीजन प्वाइंट बनाए गए हैं, अन्य वार्डों में भी जहाँ जरूरत होगी, संबंधित कंपनी वहाँ भी ऑक्सीजन प्वाइंट बनाए। कंपनी को 80 प्वाइंट बनाने हैं।
* इसी हफ्ते सीएमएचओ के माध्यम से दो वेंटीलेटर मिले हैं, जिसमें एक पीआइसीयू और एक कैजुअल्टी में उपयोग हो रहा है। मास्क, अन्य वेंटिलेटर्स, बाय पेप मशीन आदि की जरूरत को देखते हुए एनएचएम को जानकारी दी गई थी, अभी भी उपकरणों का इंतजार है।
मेडिकल कॉलेज अस्पताल
* मेडिकल में शिशु रोग विभाग द्वारा बच्चों के लिए डेडिकेटेड कोविड वार्ड तैयार किए गए हैं। ये ऑक्सीजन बेड्स और ऑक्सीजन सक्शन जैसी सुविधा से युक्त हैं। इसके अलावा वेंटिलेटर जैसे उपकरणों के लिए प्रशासन को माँग भेजी गई थी।
* मेडिकल में बच्चों के लिए 150 बिस्तरों की क्षमता का कोविड वार्ड बनना है। इसमें स्पाइनल इंजुरी सेंटर में लभभग 70 बिस्तर हैं। वहीं बच्चा वार्ड को जरूरत पडऩे पर पूरी तरह कोविड वार्ड में बदलने की भी तैयारी है।
वर्तमान स्थिति
* ऑक्सीजन युक्त बेड तैयार कर लिए गए हैं। क्रिटिकल केयर के अंतर्गत 25 पल्स ऑक्सीमीटर, 10 वेंटीलेटर और कुछ कन्संट्रेटर मिल गए हैं। जानकारी के अनुसार अभी और भी उपकरण आने हैं। उपकरणों के साथ जरूरी दवाओं की डिमांड भी भेजी गई है।
Created On :   26 Jun 2021 2:19 PM IST