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हद है - जहाँ लग रही कोरोना की वैक्सीन, वहीं हो रहे टेस्ट
शासकीय सिविल डिस्पेंसरी शंकर शाह नगर में नियमों को ताक पर रखकर हो रहा टीकाकरण, संक्रमण का खतरा, लोगों ने कहा -
यहाँ न हो कोरोना की जाँच
डिजिटल डेस्क जबलपुर । एक ओर जहाँ टीका लगवाने लोगों की भीड़ है, वहीं दूसरी ओर कोरोना संक्रमण की जाँच के लिए सैंपल देने आए लोगों की लाइन। यह नजारा है शासकीय सिविल डिस्पेंसरी शंकर शाह नगर का, जहाँ नियमों को ताक पर रखते हुए कोरोना टीकाकरण हो रहा है। प्रोटोकॉल के मुताबिक टीकाकरण के लिए 3 कमरे अनिवार्य हैं, लेकिन यहाँ 2 कमरों में डिस्पेंसरी चल रही है, वहीं बरामदे में लोगों की भीड़ जमा होती है। एक ही गेट से सभी लोगों को आना-जाना होता है। कोरोना की वैक्सीन लगवाने आए व्यक्ति के सामने ही अगर कोरोना के सैंपल लिए जा रहे हों तो आप समझ सकते हैं वह किस मानसिक डर से गुजरेगा, वहीं दूसरी ओर उसके संक्रमित होने की आशंका भी बढ़ जाएगी। शहर में ऐसे और भी स्वास्थ्य केंद्र हैं, जहाँ इस तरह की गड़बड़ी की शिकायत स्थानीय जनों ने की है। पी-3
सोशल डिस्टेंसिंग का पालन नहीं
कोरोना संदिग्धों की जाँच के लिए लाइन और कोरोना का टीका लगवाने आए लोगों के बीच में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन नहीं हो रहा है। लोग एक दूसरे से सटकर खड़े हो रहे हैं। टीका लगवाने आए व्यक्ति के करीब से कब कौन संक्रमित निकल जाए कहा नहीं जा सकता। स्थानीय लोगों का कहना है कि डिस्पेंसरी पीडब्ल्यूडी के क्वार्टर में चल रही है, जोकि बेहद छोटा है। यहाँ पर कोरोना का टीकाकरण ही होना चाहिए और कोरोना की सैंपलिंग बंद कर देनी चाहिए। डिस्पेंसरी के स्टॉफ का भी यही कहना है कि यहाँ दोनों चीजें एक साथ नहीं होनी चाहिए।
वैक्सीनेशन की गाइडलाइन्स
वैक्सीनेशन के लिए कुछ गाइडलाइन बनाई गई हैं। इसमें 3 कमरे होना अनिवार्य है। पहला प्रतीक्षा कक्ष होगा, जहाँ टीका लगवाने आया व्यक्ति प्रतीक्षा करेगा। इसके बाद दूसरे कक्ष में टीका लगेगा। टीका लगने के बाद तीसरे कक्ष में कम से कम आधा घंटा ऑब्जर्वेशन में रखा जाएगा, ताकि स्वास्थ्य खराब होने पर तुरंत उपचार दिया सके।
Created On :   6 April 2021 3:32 PM IST