कर्नाटक उच्च न्यायालय ने सरकारी वकील की विशेष नियुक्ति रद्द की

Karnataka High Court cancels special appointment of public prosecutor in RTI activist murder case
कर्नाटक उच्च न्यायालय ने सरकारी वकील की विशेष नियुक्ति रद्द की
आरटीआई कार्यकर्ता हत्या मामला कर्नाटक उच्च न्यायालय ने सरकारी वकील की विशेष नियुक्ति रद्द की

डिजिटल डेस्क, बेंगलुरु। कर्नाटक उच्च न्यायालय ने आरटीआई कार्यकर्ता विनायक पांडुरंगा बालिका की हत्या के मामले में राज्य सरकार द्वारा विशेष लोक अभियोजक (एसपीपी) की नियुक्ति के आदेश को रद्द कर दिया है। न्यायमूर्ति एम. नागप्रसन्ना की अध्यक्षता वाली एकल पीठ ने बालिका हत्याकांड के मुख्य आरोपी नरेश शेनॉय की याचिका पर विचार करते हुए यह आदेश दिया।

याचिकाकर्ता ने प्रस्तुत किया कि एसपीपी शुरू से ही मामले में शिकायतकतार्ओं के लिए बहस कर रही है और कई विरोध प्रदर्शनों में भी भाग लिया है। अदालत के संज्ञान में यह भी लाया गया कि नियुक्त एसपीपी ने आरटीआई कार्यकर्ता बालिका के पिता द्वारा आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में भी भाग लिया था और आरोपी व्यक्ति के खिलाफ बयान दिए थे।

याचिकाकर्ता ने कहा कि सरकार ने आरटीआई कार्यकर्ता के परिवार की इच्छा के अनुसार मामले में रवींद्रनाथ को एसपीपी नियुक्त किया है। याचिकाकर्ता ने मांग की कि उनकी नियुक्ति रद्द की जानी चाहिए जैसे कि वह मामले में एसपीपी के रूप में बने हुए हैं, निष्पक्ष जांच संभव नहीं होगी।

याचिका पर विचार करने वाली पीठ ने सरकार के आदेश को रद्द कर दिया है। अदालत ने यह भी कहा कि आरटीआई कार्यकर्ता की बहन अनुराधा बालिगा मामले में नए एसपीपी की नियुक्ति के लिए सरकार को एक याचिका प्रस्तुत कर सकती है और राज्य सरकार को कानून के अनुसार उसके आवेदन पर विचार करने का निर्देश दिया है।

21 मार्च 2016 को आरटीआई कार्यकर्ता विनायक बालिका की हत्या कर दी गई थी। राज्य सरकार ने 21 दिसंबर 2016 को रवींद्रनाथ कामथ को एसपीपी नियुक्त किया था।

आईएएनएस

Created On :   1 Oct 2021 9:00 AM GMT

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story