सीबीएसई के 31,172 और केरल बोर्ड के 2365 छात्रों को दाखिला

Admission of 31,172 students of CBSE and 2365 students of Kerala Board
सीबीएसई के 31,172 और केरल बोर्ड के 2365 छात्रों को दाखिला
डीयू सीबीएसई के 31,172 और केरल बोर्ड के 2365 छात्रों को दाखिला

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। दिल्ली विश्वविद्यालय की पहली कट ऑफ लिस्ट के बाद 60,904 उम्मीदवारों ने विभिन्न कॉलेजों में आवेदन किया है। इनमें से 46,054 सीबीएसई बोर्ड से थे और बाकी छात्र अन्य सीबीएसई के बाहर देश भर के अन्य शिक्षा बोडरे से हैं।

दिल्ली विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार विकास गुप्ता ने बताया कि 7 अक्टूबर 2021 के अंत तक 31,172 सीबीएसई बोर्ड के उम्मीदवार, 2365 केरल बोर्ड ऑफ हायर माध्यमिक शिक्षा के छात्रों, 1540 हरियाणा स्कूल शिक्षा बोर्ड, 1429 काउंसिल फॉर द इंडियन स्कूल सर्टिफिकेट एक्जामिनेशन के छात्रों और इसके अलावा माध्यमिक शिक्षा बोर्ड राजस्थान से 1301 छात्रों ने सफलतापूर्वक अपना दाखिला दिल्ली विश्वविद्यालय में सुरक्षित कर लिया है।

गौरतलब है कि केरल बोर्ड से 6,000 से अधिक छात्रों ने सौ प्रतिशत अंक प्राप्त किए हैं इनमें से बड़ी संख्या में केरल के छात्रों ने दिल्ली विश्वविद्यालय में दाखिले के लिए आवेदन किया है। दिल्ली विश्वविद्यालय के कुछ छात्र संगठन एवं शिक्षक का कहना है कि केरल राज्य शिक्षा बोर्ड ने 12वीं के अंक प्रदान करने में काफी ढिलाई बरती है। जिससे वहां हजारों छात्रों ने 100 फीसदी अंक हासिल किए हैं। अब छात्र संगठन एवं शिक्षक केरल के छात्रों को दिए जा रहे दाखिलों का विरोध कर रहे हैं।

इस संबंध में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के छात्रों ने दिल्ली विश्वविद्यालय में धरना प्रदर्शन भी किया है।

हालांकि दूसरी ओर गुरुवार शाम दिल्ली विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार विकास गुप्ता ने कहा कि केंद्रीय विश्वविद्यालय होने के नाते, दिल्ली विश्वविद्यालय समान रूप से और सभी उम्मीदवारों की शैक्षणिक साख को समान रूप से महत्व देता है। दिल्ली विश्वविद्यालय छात्रों के राज्यों और स्कूल बोडरें की परवाह किए बिना समान रूप से महत्व देता है। इस साल भी केवल योग्यता आधार पर आवेदन स्वीकार करके सबके लिए समान अवसर बनाए रखा गया।

दिल्ली विश्वविद्यालय का कहना है कि वह पक्षपात करने के संबंध में प्रसारित की जा रही खबरों की का कड़ा खंडन और निंदा करता है।

रजिस्ट्रार विकास गुप्ता ने कहा कि न केवल भारत भर से बल्कि विदेशों से आने वाले मेधावी छात्रों के साथ भी दिल्ली विश्वविद्यालय न्याय करें, यह हमारी जिम्मेदारी है।

उन्होंने कहा कि दिल्ली विश्वविद्यालय में गुणवत्तापूर्ण शिक्षण और अनुसंधान की लंबी विरासत है। इसके साथ ही एक प्रतिष्ठित केंद्रीय विश्वविद्यालय होने के नाते देशभर के छात्र हमारे कॉलेजों, विभागों व केंद्रों में अध्ययन करने की इच्छा रखते हैं। सभी के साथ न्याय और समानता बनाए रखना हमारी सबसे बड़ी जिम्मेदारी है।

गौरतलब है कि दिल्ली विश्वविद्यालय में अंडर ग्रेजुएट पाठ्यक्रमों हेतु पहली कट ऑफ लिस्ट 1 अक्टूबर को जारी की गई थी। इस कट ऑफ लिस्ट के आधार पर 4 अक्टूबर से विश्वविद्यालय के विभिन्न कॉलेजों में दाखिले शुरू किए गए थे। दिल्ली विश्वविद्यालय अब 9 अक्टूबर को दूसरी कट ऑफ लिस्ट जारी करेगा।

 

(आईएएनएस)

Created On :   7 Oct 2021 9:00 PM IST

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