साउथ फिल्म इंटस्ट्री को लेकर लोगों को हैं ये गलतफहमियां
डिजिटल डेस्क, मुबंई। साउथ फिल्म इंडस्ट्री में कई ऐसी फिल्में जो लोगों को खूब पसंद आती हैं, लेकिन कई लोग इन्हें देखना पसंद नहीं करते हैं क्योंकि उनके मुताबिक इनमें फैंटसी कुछ ज्यादा ही होती है। हालांकि बाहुबली फिल्म ने साउथ सिनेमा की फैन फॉलोइंग बढ़ गई है। लेकिन बावजूद इसके अभी भी कई ऐसी बातें है, जो साउथ फिल्म इंडस्ट्री को लेकर लोगों के बीच गई मिथक बनीं हुई हैं। आइए जानते है कि वो कौनसी मिथक है जो टूट नहीं पा रहे है।
साउथ फिल्मों में चलते हैं सिर्फ मूछों वाले हीरो
ये पूरी तरह से सच नहीं है। काफी हीरो ऐसे हैं, जो बिना मूछों के भी इंडस्ट्री पर धाक जमाए हुए हैं। ऐसे ही एक्टर्स में महेश बाबू, सुकुमार जैसों का नाम है।
हीरोइनें होती हैं मोटी
साउथ इंडियन फिल्मों के बारे में ये भी एक मिथ है कि सभी हीरोइनों का वजन ज्यादा होता है। इन फिल्मों में हीरोइने साइज जीरो नहीं होती। पर श्रिया सरन, इलियाना डी-क्रूज जैसी हीरोइनें इसी इंडस्ट्री का हिस्सा हैं।
तमिल में ही बनते ही फिल्में
ज्यादातर लोगों का मानना है कि साउथ इंडियन फिल्में सिर्फ तमिल में बनती हैं और बाकी भाषाओं में डब की जाती है, लेकिन ऐसा नहीं हैं। साउथ की फिल्में तेलुगू, कन्नड़ और मलयालम फिल्में भी बनती हैं।
नहीं होता है कास्टिंग काउच
जनाब, सभी फिल्म इंडस्ट्री के कामकाज ऐसे ही होते हैं।
जम के होते है एक्सपेरिमेंट
ये सच नहीं है। वहां भी सभी तरह की फिल्में बनती हैं। खासकर मसाला फिल्में। फिल्मों के सब्जेक्ट के मामले में ये बॉलीवुड से अलग नहीं है।
नहीं चलती हिंदी फिल्में
ये सच तो है, पर पूरी तरह से नहीं। बॉलीवुड फिल्में साउथ में भी रिलीज होती हैं। बड़े शहरों में नॉर्थ इंडियन लोग ऐसी फिल्में जमकर देखते हैं।
Created On :   15 Sept 2017 12:27 PM IST