किम जोंग ने बीजिंग में जिनपिंग से की मुलाकात, कहा- हम भी शांति चाहते हैं

किम जोंग ने बीजिंग में जिनपिंग से की मुलाकात, कहा- हम भी शांति चाहते हैं
हाईलाइट
  • इस दौरान किम जोंग ने चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग को भी नॉर्थ कोरिया आने का निमंत्रण दिया
  • जिसे शी ने एक्सेप्ट कर लिया।
  • किम जोंग इसके बाद अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से भी मुलाकात करने वाला है।
  • साल 2011 में नॉर्थ कोरिया की सत्ता संभालने के बाद किम जोंग का ये पहला विदेशी दौरा है।

डिजिटल डेस्क, बीजिंग। नॉर्थ कोरिया का तानाशाह किम जोंग उन अपनी पत्नी री सोल जू के साथ 4 दिन की यात्रा पर चीन पहुंचा है। किम जोंग ने इस दौरान चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग से मुलाकात की। इस बात की पुष्टि चीन की सरकारी न्यूज एजेंसी शिन्हुआ ने की है। शिन्हुआ ने किम जोंग और जिनपिंग की मुलाकात की कुछ फोटोज भी जारी की हैं। हालांकि तानाशाह 25 मार्च से 28 मार्च तक चीन की यात्रा पर थे और दौरा खत्म होने के बाद चीन ने इस बात की जानकारी दी। बताया जा रहा है कि साल 2011 में नॉर्थ कोरिया की सत्ता संभालने के बाद किम जोंग का ये पहला विदेशी दौरा है। बता दें कि किम जोंग इसके बाद अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से भी मुलाकात करने वाला है।

अमेरिका के साथ बातचीत को तैयार

चीनी मीडिया शिन्हुआ के मुताबिक नॉर्थ कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन ने चीनी यात्रा के दौरान कहा कि "नॉर्थ कोरिया अमेरिका के साथ बातचीत करने और दोनों देशों के बीच एक समिट के लिए तैयार है।" रिपोर्ट्स के मुताबिक किम ने ये भी कहा कि "नॉर्थ कोरिया को न्यूक्लियर वेपन्स मुक्त करने का मुद्दा हल हो सकता है अगर साउथ कोरिया और अमेरिका हमराी कोशिशों का जवाब दें। हम शांति और स्थिरता बनाए रखना चाहते हैं।" बताया जा रहा है कि इस दौरान किम जोंग ने चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग को भी नॉर्थ कोरिया आने का निमंत्रण दिया, जिसे शी ने एक्सेप्ट कर लिया।

 

 

 



चीन क्यों पहुंचा किम जोंग? 

- पिछले साल नॉर्थ कोरिया बार-बार चेतावनी के बाद भी न्यूक्लियर टेस्ट करता रहा, जिसके बाद उसपर प्रतिबंध लगा दिए गए थे। इससे चीन और नॉर्थ कोरिया के बीच जो संबंध सालों से चले आ रहे थे, उनमें भी तनाव पैदा हो गया था। लिहाजा माना जा रहा है कि किम जोंग चीन से रिश्ते सुधारने के लिए पहुंचा है।

- इसके अलावा नॉर्थ कोरिया जल्द ही साउथ कोरिया और अमेरिका से बाच करने जा रहा है। इस लिहाज से भी इस दौरे को काफी अहम माना जा रहा है। अपनी चीन यात्रा के जरिए किम जोंग ये संदेश देने की कोशिश कर रहा है कि अब नॉर्थ कोरिया भी शांति चाहता है। 

- पिछले एक साल में नॉर्थ कोरिया का नाम दुनिया में बहुत ज्यादा खराब हुआ है। कई देशों ने किम जोंग के न्यूक्लियर टेस्ट की आलोचना की और उस पर प्रतिबंध लगाए। अब चीन यात्रा में किम जोंग ने भी कहा है कि वो न्यूक्लियर प्रोग्राम को बंद करना चाहता है।

चुपचाप तरीके से पहुंचा चीन

कुछ दिनों पहले जापानी मीडिया में खबर आई थी कि नॉर्थ कोरिया का एक बड़ा अधिकारी ट्रेन से चीन पहुंचा है। तभी माना जा रहा था कि किम जोंग चीन पहुंचा है, लेकिन इस बात की कोई पुष्टि नहीं हुई थी। बताया ये भी जा रहा है कि चीनी सोशल मीडिया पर डैन्डॉन्ग में रहने वाले लोगों ने बताया था कि स्टेशन पर ट्रेन के आसपास के कड़ी सुरक्षा थी। यहां तक कि आसपास की बिल्डिंग्स में भी लोगों की एंट्री पर रोक लगी थी। रिपोर्ट्स के मुताबिक, सोमवार शाम को एक काफिला चांगन एवेन्यू से स्टेट गेस्ट हाउस की तरफ निकला। काफिले में एक लंबी गाड़ी भी थी, जिसके शीशे काले थे। इसके साथ ही पुलिसवाले भी बाइक पर सवार होकर आगे चल रहे थे। तभी माना जा रहा था कि कोई बड़ा विदेशी नेता चीन पहुंचा है।

किम जोंग के पिता भी ट्रेन से ही आते थे

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताकि किम जोंग उन के पिता किम जोंग इल भी ट्रेन से ही कड़ी सुरक्षा के बीच चीन और रूस की यात्रा किया करते थे। जब किम जोंग इल चीन यात्रा पर होते थे, तो भी उनके वापस जाने के बाद ही इस बात की जानकारी दी जाती थी। दरअसल, किम जोंग इल की सुरक्षा को खतरा होता था, इसलिए वो फ्लाइट की जगह ट्रेन से ही विदेश की यात्रा किया करते थे। हालांकि किम जोंग उन कई बार फ्लाइट में सफर कर चुका है, लेकिन वो भी चीन स्पेशल ट्रेन से ही पहुंचा। बता दें कि किम जोंग इल जब 2011 में चीन यात्रा पर गए थे, तो स्पेशल ट्रेन से ही बीजिंग पहुंचे थे।

Created On :   28 March 2018 2:59 AM GMT

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