सेना ने टीटीपी को कोई अतिरिक्त संवैधानिक रियायत नहीं देने का भरोसा दिया
- वर्तमान में शत्रुता की तीन महीने की समाप्ति देखी जा रही है।
डिजिटल डेस्क, इस्लामाबाद। पाकिस्तान की सेना ने देश के नेतृत्व को आश्वासन दिया है कि दोनों पक्षों के बीच चल रही बातचीत में तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (टीटीपी) को कोई अतिरिक्त संवैधानिक रियायत नहीं दी जाएगी। आतंकी समूह संसदीय मंजूरी के अधीन होगा।
डॉन न्यूज की रिपोर्ट के अनुसार, सेना ने बुधवार को यहां प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ की अध्यक्षता में उनके कार्यालय में एक बैठक के दौरान यह आश्वासन दिया।
बैठक के बाद प्रधानमंत्री कार्यालय द्वारा जारी एक बयान में कहा गया है : निर्णय पाकिस्तान के संविधान के आलोक में संसद की मंजूरी, भविष्य के लिए प्रदान किए गए मार्गदर्शन और परिणामी सहमति के साथ किया जाएगा।
राजनीतिक नेतृत्व और सेना के बीच यह पहली बैठक थी, क्योंकि बाद में युद्धग्रस्त राष्ट्र में तालिबान शासन की मदद से अफगानिस्तान में टीटीपी के साथ बातचीत शुरू हुई थी।
डॉन न्यूज के मुताबिक, अफगान तालिबान की मांग पर अक्टूबर 2021 में टीटीपी के साथ बातचीत शुरू हुई और शुरू में एक महीने के युद्धविराम पर सहमति बनी, लेकिन दिसंबर में आतंकी समूह के वार्ता से हटने के बाद यह प्रक्रिया टूट गई और इस बहाने संघर्ष विराम को आगे बढ़ाने से इनकार कर दिया। पाकिस्तानी अधिकारी अपनी प्रतिबद्धताओं को पूरा नहीं कर रहे थे।
अप्रैल में गुप्त रूप से संवाद को पुनर्जीवित किया गया, जिसके कारण टीटीपी ने ईद-उल-फितर के अवसर पर युद्धविराम की घोषणा की।
जैसे-जैसे मामला आगे बढ़ा, युद्धविराम को बढ़ाया जाता रहा और वर्तमान में शत्रुता की तीन महीने की समाप्ति देखी जा रही है।
(आईएएनएस)
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Created On :   23 Jun 2022 3:00 PM IST